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किशनगंज : जिला निबंधन कार्यालय के कर्मी के उपर लगाए गए घूसखोरी के आरोप सरासर झूठे गलत व भ्रामक:-सीमा कुमारी, जिला अवर निबंधक

जिस कर्मी को रिश्वत लेते दिखाया गया है दरअसल उक्त कर्मी दिलीप वर्मा रिकॉर्ड कीपर है।विवाह शुल्क, ईसी सर्टीफिकेट फीस, डिलेवरी फीस, सर्चिंग फीस एवं कॉपी फीस आदि अन्य कई ऐसे शुल्क हैं जो निबंधन कार्यालय में नकद जमा लेने का प्रावधान है।

किशनगंज/धर्मेन्द्र सिंह, जमीन की रजिस्ट्री में सिर्फ केवाला डीड में लगने वाले राशि का चालान जमा होता है। इसके अलावे विवाह शुल्क, ईसी सर्टीफिकेट फीस, डिलेवरी फीस, सर्चिंग फीस एवं कॉपी फीस आदि अन्य कई ऐसे शुल्क हैं जो निबंधन कार्यालय में नकद जमा लिये जाते हैं।ये बातें जिला अवर निबंधक सीमा कुमारी ने कही।जिला निबंधन कार्यालय में घूसखोरी का मामले उजागर होने पर 20.11.2019 को कार्यालय वेश्म में प्रेस को संबोधित करते हुए जिला अवर निबंधक ने कहा कि जिला निबंधन कार्यालय के कर्मी के उपर लगाए गए घूसखोरी के आरोप सरासर झूठे गलत व भ्रामक हैं।उन्होंने बताया कि जिस कर्मी को रिश्वत लेते दिखाया गया है दरअसल उक्त कर्मी दिलीप वर्मा रिकॉर्ड कीपर है।विवाह शुल्क, ईसी सर्टिफिकेट फीस, डिलेवरी फीस, सर्चिंग फीस आदि जो भी शुल्क नगद जमा लिए जाने का प्रावधान है।वह रिकार्ड रूम में ही जमा लिये जाते हैं।रिकार्ड कीपर दिलीप वर्मा सरकारी शुल्क जमा ले रहे थे जिसे रिश्वत बताया गया है।जिला अवर निबंधक ने बताया कि इस मामले को लेकर जिला पदाधिकारी के निर्देश के आलोक में अपर समाहर्ता सह जिला लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी हरि शंकर प्रसाद जिला निबंधन कार्यालय पहुँचकर मामले की जांच किये हैं।उन्होंने मौके पर मौजूद लोगों से भी बात किये।उल्लेखनीय है कि जिला निबंधन कार्यालय में घूसखोरी के मामले को लेकर एक चैनल में न्यूज़ दिखाया गया था।जिलाधिकारी के निर्देश पर मामले की जांच करने पहुंचे जिला लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी हरि शंकर प्रसाद ने कहा कि जांच में कुछ खामियां पाई गई है।जो शुल्क नगद लिए जाते हैं उसका तुरंत रसीद नही दिया जाता है।शुल्क लेने के साथ ही रजिस्टर अपडेट करना चाहिए लेकिन रजिस्टर अपडेट नही था।लेकिन रिश्वत लेने या मांगे जाने के संबंध में साक्ष्य या कोई गवाह सामने नही आये हैं।दिखाए गए वीडियो क्लिप के संबंध में आरोपी रिकॉर्ड कीपर से पूछताछ करने पर बताया कि जमा लिए गए शुल्क की राशि गिनने के दौरान वीडियो शूट किया गया जिसे रिश्वत लेने का मामला बताया जा रहा है।

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