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किशनगंज : “टीबी हारेगा, देश जीतेगा”: किशनगंज में क्षय रोग उन्मूलन अभियान को मिली नई गति

किशनगंज,03जुलाई(के.स.)। धर्मेन्द्र सिंह, भारत सरकार के वर्ष 2025 तक देश को टीबी मुक्त बनाने के राष्ट्रीय संकल्प को साकार करने की दिशा में किशनगंज जिला लगातार सक्रिय भूमिका निभा रहा है। इसी क्रम में बुधवार को सिविल सर्जन डॉ. राज कुमार चौधरी ने किशनगंज स्थित सीडीओ (टीबी) कार्यालय का औचक निरीक्षण किया।

इस निरीक्षण का उद्देश्य क्षय रोग नियंत्रण से जुड़ी ज़मीनी गतिविधियों की वास्तविक स्थिति का आकलन करना और किसी भी स्तर पर लापरवाही की पहचान कर उसे तुरंत दूर करना था।

रिकॉर्ड और संसाधनों की गहन जांच

निरीक्षण के दौरान सिविल सर्जन ने मानव संसाधन की उपस्थिति, पंजीकरण रजिस्टर, प्रयोगशाला उपकरणों, दवा आपूर्ति, मरीजों के फॉलोअप और निक्षय पोषण योजना की स्थिति का विस्तृत मूल्यांकन किया। उन्होंने यह सुनिश्चित किया कि टीबी के मरीजों को जांच, इलाज और पोषण सहायता नियमित रूप से मिल रही है या नहीं।

उपकरणों के अद्यतन में मिली कमी

निरीक्षण के दौरान कुछ उपकरणों के अद्यतन नहीं होने की बात सामने आई, जिस पर डॉ. चौधरी ने संबंधित तकनीकी कर्मियों को तत्काल समाधान सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। उन्होंने स्पष्ट कहा कि मरीजों की गोपनीयता, संवेदनशीलता और समयबद्ध इलाज में कोई भी कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।

टीबी के खिलाफ बहुआयामी जागरूकता अभियान

जिला यक्ष्मा नियंत्रण पदाधिकारी डॉ. मंजर आलम ने जानकारी दी कि जिले में आशा, एएनएम, सीएचओ और स्वास्थ्यकर्मी घर-घर जाकर टीबी के लक्षणों से पीड़ित व्यक्तियों की पहचान कर रहे हैं।
लक्षणों में –

  • दो सप्ताह से अधिक समय तक खांसी
  • लगातार बुखार
  • वजन कम होना
  • भूख न लगना
  • बलगम में खून आना
    शामिल हैं। ऐसे लक्षणों पर त्वरित जांच और निःशुल्क इलाज की व्यवस्था की गई है।

तकनीक और सेवा का समन्वय

जिले में CBNAAT, TruNat, और डिजिटल एक्स-रे जैसी अत्याधुनिक तकनीकों के माध्यम से टीबी की शीघ्र और सटीक पहचान सुनिश्चित की जा रही है। साथ ही, निक्षय पोषण योजना के तहत टीबी मरीजों को हर महीने ₹500 की सहायता दी जा रही है, जिससे उनके पोषण स्तर में सुधार हो सके।

जनवरी-जून 2025 तक 14,000+ लोगों की जांच

इस वर्ष अब तक जिले में 14,000 से अधिक लोगों की जांच की गई, जिनमें से सैकड़ों को समय पर इलाज मिल पाया है। यह आंकड़ा जिला प्रशासन की सजगता और समाज की भागीदारी का प्रमाण है।

सिविल सर्जन की अपील – “टीबी से डरें नहीं, समय पर जांच कराएं”

निरीक्षण के समापन पर सिविल सर्जन डॉ. राज कुमार चौधरी ने कहा –
टीबी एक संक्रामक लेकिन पूर्णतः इलाज योग्य रोग है। समय पर पहचान, मुफ्त जांच और नियमित दवा से यह पूरी तरह ठीक हो सकता है। अगर किसी को लंबे समय से खांसी, बुखार, वजन में कमी या बलगम में खून आ रहा है, तो तुरंत जांच कराएं। इलाज पूरी तरह निःशुल्क है।”

उन्होंने आगे कहा कि टीबी उन्मूलन केवल स्वास्थ्य का ही नहीं, बल्कि सामाजिक चेतना का विषय है। “हर नागरिक की सहभागिता से ही 2025 तक टीबी मुक्त भारत का सपना साकार होगा। किशनगंज इस दिशा में एक प्रेरणास्रोत बनकर उभर रहा है।”

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