किशनगंज : महानंदा, कनकई, रतुआ नदी किनारे बसे गांव के लोगों की बेचैनी, आस पास के गावों में घुुुसा पानी..

ग्रामीणों ने बताया कि सरकारी तंत्र तथा स्थानीय जनप्रतिनिधियों की लापरवाही एंव उदासीनता के कारण हम लोगों को हर साल बाढ़ का दंश झेलना पड़ता है।यदि सरकार द्वारा महानंदा बेसिन का निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाए तो दर्जनों गांव के हजारों परिवारों के लिए बाढ़ की समस्या हमेशा के लिए समाप्त हो जाएगा।
- महानंदा का जलस्तर में लगातार वृद्धि होने से नदी किनारे बसे डूबानोची, फाला, कस्वा कलियागंज तथा बुढ़नई पंचायत के दर्जनों गांव सहित शिक्षण संस्थान तथा धार्मिक स्थलों के परिसर में बाढ़ का पानी प्रवेश।
- फाला पंचायत के गिल्हाबाड़ी, बड़ापोखर कस्वा कलियागंज के फूलबाड़ी, तैयबपूर, कलियागंज, बालूबाड़ी, कौआबाड़ी, चिचुआबाड़ी, सैठाबाड़ी तथा बुढ़नई पंचायत के ललबाड़ी निचानपाड़ा, टप्पू, आदिवासी टोला शीशाबाड़ी, कानाडूबा तथा हलीमनगर डांगीबस्ती सहित दर्जनों गांव में बाढ़ का पानी प्रवेश।
- बाढ़ का पानी प्राथमिक विद्यालय बड़ापोखर, मध्य विद्यालय कालियागंज तथा शिव मंदिर कालियागंज के परिसर में भी प्रवेश।
- तीस्ता बैराज से दिनांक-28.07.2020 को पानी छोड़े जाने से महानंदा नदी का जलस्तर में वृद्धि होने लगी।लेकिन दोपहर के बाद जलस्तर घट रहा है।दोपहर 12 बजे नदी का जलस्तर 66.79 मीटर पर बह रहा था।लेकिन शाम 4 बजे नदी का जलस्तर घटकर 66.77 मीटर पर बहने लगा है।
- कनकई नदी का पानी लोगों के घरों में घुसा और सड़कों के उपर से पानी चल रहा है बहादुरगंज टेढ़ागाछ मुखय सड़क झुनकी मुशहरा एवं चंदरगाँव पुल के उपर से होकर पानी चल रहा है।वहीं रेतुआ नदी में भी बाढ़ का आलम है आस पास के गावों में पानी का प्रवेश जससे लोगो में भय वयाप्त।
किशनगंज/धर्मेन्द्र सिंह, तिस्ता बैराज से पानी डिस्चार्ज किये जाने से दिनांक-28.07.2020 सुबह से ही महानंदा नदी का जलस्तर में वृद्धि होने लगी और देखते ही देखते नदी ने रूद्र रूप अख्तियार कर लिया।जिससे बाढ़ का पानी किशनगंज-ठाकुरगंज मुख्य सड़क स्थित कौआबाड़ी के समीप मुख्य सड़क के उपर से लगभग तीन फीट पानी बहने लगा।मुख्य सड़क के उपर से पानी बहने से कुछ समय के लिए उक्त सड़क पर आवागमन भी बाधित रहा।दोपहर 12 बजे नदी का जलस्तर बढ़कर खतरे की निशान से 79 सेंटीमीटर उपर बहने लगा है।जिससे नदी किनारे बसे गांव के लोगों की बेचैनी बढ़ने लगी।महानंदा का जलस्तर में लगातार वृद्धि होने से नदी किनारे बसे डूबानोची, फाला, कस्वा कलियागंज तथा बुढ़नई पंचायत के दर्जनों गांव सहित शिक्षष संस्थान तथा धार्मिक स्थलों के परिसर में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया।जिससे लोगों की परेशानी बढ़ गई।आपको बताते चलें कि पोठिया प्रखंड भौगोलिक ष्टिकोण से महानंदा तथा डोंक नदी से घिरा हुआ है।लोग हर साल बाढ़ जैसी विभीषिका से जूझने को विवश हैं।जब भी दोनों नदियां विकराल रूप धारण करती है तो नदी किनारे बसे दर्जनों गांव इसके चपेट में आ जाते हैं।जिससे लोगों को व्यापक नुकसान का सामना करना पड़ता है।वहीं महानंदा का जलस्तर में सुबह से लगातार वृद्धि होने से नदी किनारे बसे फाला पंचायत के गिल्हाबाड़ी, बड़ापोखर कस्वा कलियागंज के फूलबाड़ी, तैयबपूर, कलियागंज, बालूबाड़ी, कौआबाड़ी, चिचुआबाड़ी, सैठाबाड़ी तथा बुढ़नई पंचायत के ललबाड़ी निचानपाड़ा, टप्पू, आदिवासी टोला शीशाबाड़ी, कानाडूबा तथा हलीमनगर डांगीबस्ती सहित दर्जनों गांव में बाढ़ का पानी प्रवेश कर गया।जिससे घरों में रखा अनाज सहित अन्य सामानों का वृहत पैमाने पर नुकसान हुआ है।बाढ़ का पानी प्राथमिक विद्यालय बड़ापोखर, मध्य विद्यालय कालियागंज तथा शिव मंदिर कालियागंज के परिसर में भी प्रवेश कर गया।जबकि बाढ़ के चपेट में आने से बड़ापोखर गांव को मुख्य सड़क से जोड़ने वाली सड़क तीन जगह कट चुका है।इस वजह से ग्रामीणों का संपर्क मुख्य सड़क से टूट चुका है।बाढ़ प्रभावित गांव के लोगों का कहना है कि अब बाढ़ जैसी विभीषिका को झेलना हमारे जीवन का एक हिस्सा बन गया है।हमारे लिए यह कोई नई बात नहीं है।लेकिन प्रशासन की ओर से किसी तरह का सहयोग नहीं मिल रहा है।ग्रामीणों ने बताया कि सरकारी तंत्र तथा स्थानीय जनप्रतिनिधियों की लापरवाही एंव उदासीनता के कारण हम लोगों को हर साल बाढ़ का दंश झेलना पड़ता है।यदि सरकार द्वारा महानंदा बेसिन का निर्माण कार्य शुरू कर दिया जाए तो दर्जनों गांव के हजारों परिवारों के लिए बाढ़ की समस्या हमेशा के लिए समाप्त हो जाएगा।वहीं चार बजे नदी का जलस्तर घटकर 66.77 हो गया।इधर सीओ वीरेंद्र कुमार सिंह ने बाढ़ प्रभावित गांव का दौरा कर बाढ़ पीड़ितों का जायजा लिया।केन्द्रीय जलायोग तैयबपूर में कार्यरत कर्मी ने बताया कि तीस्ता बैराज से पानी छोड़े जाने से दिनांक-28.07.2020 से ही महानंदा नदी का जलस्तर में वृद्धि होने लगी है।लेकिन दोपहर के बाद जलस्तर घट रहा है।दोपहर 12 बजे नदी का जलस्तर 66.79 मीटर पर बह रहा था।लेकिन शाम चार बजे नदी का जलस्तर घटकर 66.77 मीटर पर बहने लगा है।वही महानंदा नदी के जलस्तर में दिनांक-28.07.2020 की सुबह लगातार वृद्धि होती रही।लेकिन दोपहर तक महानंदा का जलस्तर घटने लगा।हालांकि अभी भी महानंदा ऊफान पर है।महानंदा नदी का जलस्तर खतरे के निशान से 67 सेमी ऊपर 66.67 मीटर दर्ज की गई।इस संबंध में जिला आपदा पदाधिकारी राहुल बर्मन ने कहा कि महानंदा का पानी घटने लगा है।लेकिन अभी भी खतरे के निशान से ऊपर नदी का पानी बह रहा है।किसी भी अनहोनी से निपटने के लिए जिला प्रशासन पूरी तरह तैयार है।पोठिया प्रखंड के डूबानोची, फाला व कस्वाकलियागंज पंचायत के कई गांव में बाढ़ का पानी प्रवेश कर चुका है।किशनगंज-ठाकुरगंज मुख्य सड़क पर कौआपाड़ा के समीप महानंदा का पानी सड़क के उपर से बहने लगा है।इसी तरह कनकई व मेंची नदी के जलस्तर में लगातार वृद्धि हो रही है। जिला प्रशासन द्वारा सभी बीडीओ और सीओ को अलर्ट किया गया है।पोठिया, किशनगंज, टेढ़ागाछ व बहादुरगंज प्रखंड के एक दर्जन से अधिक गांव बाढ़ की चपेट में है।वही टेढ़ागाछ प्रखंड अंतर्गत रेतुआ नदी के किनारे स्थित झुनकी मुशहरा पंचायत के वार्ड नम्बर 01 धपरटोल गांव एवं भोरहा पंचायत के वार्ड नम्बर 13 के आशा गांव में रेतुआ नदी से हो रहे कटाव की वजह से ग्रामीण अत्यधिक परेशान और चितित हैं।साथ ही आर्थिक नुकसानों का सामना करना पड़ा है।घर और फसल रेतुआ नदी के गर्भ में समा चुके हैं।दिनांक-27.07.2020 को जिला जल निस्सरण टीम द्वारा अन्य स्थलों का निरीक्षण किया गया।सड़क कट जाने से आवागमन पूर्णत: बंद हो जाने को लेकर सांसद प्रतिनिधि डॉ० हसनैन रजा ने जल निस्सरण कार्यपालक पदाधिकारी अशोक यादव और इंजीनियर के साथ रेतुआ नदी के कटाओं का निरीक्षण किया।उन्होंने कहा कि कटाव निरोधी कार्य करने के लिए नक्सा खीचें गए हैं।बहुत जल्द कटाव रोधक कार्य प्रारंभ हो जाएंगे।मटियारी पंचायत के महतोटोला और परतीटोला के साथ साथ मटियारी हाट के कनकई नदी के कटाव स्थल से विस्थापित परिवारों से भी मिले।इस दौरान जिला पार्षद श्यामलाल राम और मटियारी पंचायत के मुखिया प्रतिनिधि मास्टर अशरफ आलम मौजूद रहे।आज क्षेत्र में भारी बारिश से परतीटोला का कटाव और तेज हो गया है।लोग दिन रात दहशत मे जी रहे है।विस्थापित परिवारों के सामने अनेकों समस्या उत्पन्न हो गई है।उपर से करोना जैसी महामारी से भी लोग दहशत में पहले से जी रहे है।और आगे भी जिने को लचार है।जुनेद आलम, मनोज यादव, मौजीम, दिलावर, सलाम, नजाम, आदि लोगों का कहना है कि अभी तक विधायक या सांसद महोदय अभी तक नहीं आए।और न हीं हाल चाल हीं लेना मुनासिब समझा।आज कनकई नदी का पानी लोगों के घरों में घुसा और सड़कों के उपर से पानी चल रहा है बहादुरगंज टेढ़ागाछ मुखय सड़क झुनकी मुशहरा एवं चंदरगाँव पुल के उपर से होकर पानी चल रहा है।वहीं रेतुआ नदी में भी बाढ़ का आलम है आस पास के गावों में पानी घुस गया है जससे लोग काफी परेशान है।