किशनगंज : सदर अस्पताल के लक्ष्य प्रमाणीकरण के लिए राज्यस्तरीय टीम ने प्रसव कक्ष का किया निरीक्षण

02-03 जून तक राज्यस्तरीय टीम करेगी मूल्यांकन
- प्रसव कक्ष में सभी 36 प्रकार के पंजीयन के अपडेट का किया मूल्यांकन
- लक्ष्य योजना के तहत पहले भी मिल चुकी है (कन्डिशनल) लक्ष्य सर्टिफिकेशन
किशनगंज, 02 जून (के.स.)। धर्मेन्द्र सिंह, सदर अस्पताल के प्रसव कक्ष व मातृत्व ओटी के लक्ष्य प्रमाणीकरण की कवायद शुरू कर दी गई है। इस क्रम में शुक्रवार को राज्य स्तरीय टीम ने सदर अस्पताल के प्रसव कक्ष का मूल्यांकन किया। जिसके तहत सदर अस्पताल की गुणवत्ता की मैपिंग की गई। जिसमें कुल आठ तरह के मूल्यांकन पैमाने बनाए थे। इसमें अस्पताल की आधारिक संरचना के साथ साफ़-सफाई का स्तर, स्टाफ की उपलब्धता, लेबर रूम के अंदर जरूरी संसाधनों की उपलब्धता की मैपिंग की गयी है। साथ ही प्रसव कक्ष में सभी 36 प्रकार के रजिस्टर के अपडेशन की जानकारी ली गई।
टीम में राज्य स्तर से डा० मनीष कुमार एवं डा० विकास आर पाण्डेय शामिल रहे। प्रभारी सिविल सर्जन डा० सुरेश प्रसाद ने कहा कि लक्ष्य प्रमाणीकरण के 8 मानकों में मुख्य रूप से सेवा प्रावधान, रोगी का अधिकार, इनयूट्रस, सपोर्ट सर्विसेज, क्लिनिकल सर्विसेज, इंफेक्शन कंट्रोल, क्वालिटी मैनेजमेंट, आउटकम शामिल हैं। इन सभी आठों इंडिकेटरों के कुल 362 उपमानकों पर अस्पताल के प्रसव कक्ष एवं शल्य कक्ष का लगभग 6 से 9 महीनों तक लगातार क्वालिटी सर्किल (संस्थान स्तर पर), ज़िला कोचिंग दल (ज़िला स्तर पर) इसके अलावा क्षेत्रीय कोचिंग दल द्वारा लगातार पर्यवेक्षण एवं निरीक्षण कर आवश्यकता अनुसार सभी स्वास्थ्य कर्मियों को प्रशिक्षित किया जाता है। प्रशिक्षण के बाद अस्पताल का भौतिक निरीक्षण किया जाता है और यह देखा जाता कि प्रशिक्षण लेने के बाद स्वास्थ्य कर्मियों के द्वारा कार्य किया जा रहा है या नहीं। इसके साथ ही आठों इंडिकेटरों के अनुरूप नियमानुसार समुचित ढंग से रखा जाता है या नहीं, इससे संबंधित निरीक्षण किया जाता है। सदर अस्पताल उपाधीक्षक डा० उर्मिला कुमारी ने कहा कि प्रसव कक्ष में देखभाल सुविधाओं के मूल्यांकन के बाद प्रसूति कक्ष और मैटरनिटी ऑपरेशन थियेटर में गुणवत्ता सुधार का मूल्यांकन राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक (एनक्यूएएस) के माध्यम से किया जाता है। उसके बाद ही एनक्यूएएस पर 70% अंक प्राप्त करने वाली प्रत्येक सुविधाओं को लक्ष्य प्रमाणित सुविधा के रूप में प्रमाणित किया जाता है।
इसके अलावा एनक्यूएएस स्कोर के अनुसार लक्ष्य प्रमाणित सुविधाओं की ब्रांडिंग की जाती है। 70 से 80 तक स्कोर पाने वाले अस्पताल को सिल्वर की श्रेणी में रखा जाता है। जबकि 81 से 90 तक स्कोर पाने वाले अस्पताल को गोल्ड की श्रेणी में रखा जाता है। वहीं 91 से 100 तक स्कोर पाने वाले अस्पताल को प्लेटिनम की श्रेणी में रखा जाता है। इन सभी श्रेणियों को प्रशस्ति पत्र व प्रोत्साहन के रूप में नकद राशि प्रदान की जाती है। जिला कार्यक्रम प्रबंधक डा० मुनाजिम ने कहा कि सदर अस्पताल के लेबर रूम को लक्ष्य योजना के तहत वर्ष 2022 में (कन्डिशनल) लक्ष्य सर्टिफिकेशन किया जा चुका है। लक्ष्य कार्यक्रम के तहत तीन स्तर पर रैंकिंग की जाती है। जिसमें पहले स्तर पर जिला, दूसरे स्तर पर क्षेत्रीय (रीजनल) एवं तीसरे स्तर पर राष्ट्रीय रैंकिंग की जाती है।
प्रोत्साहन राशि प्राप्त करने के लिए अस्पताल को 75 अंक प्राप्त करना होता है। विदित हो की राष्ट्रीय क्वालिटी एश्योरेंस टीम द्वारा 2022 में किये गये निरीक्षण में प्रसव कक्ष के माध्यम से उपलब्ध करायी जा रही सुविधाओं को लक्ष्य के निर्धारित मानक के अनुरूप पाया गया था। जिसके फलस्वरूप लक्ष्य एसेसमेंट के सभी मापदंडों पर खरा उतरने के बाद अस्पताल के लेबर रूम को सशर्त (कन्डिशनल) लक्ष्य सर्टिफिकेशन दे दिया गया था। जिसमें सदर अस्पताल का प्रसव गृह लक्ष्य प्रमाणित हो गया था, जबकि ओटी लक्ष्य प्रमाणीकरण नहीं हो पाया था। वहीं इस वर्ष लक्ष्य प्रमाणीकरण को लेकर प्रसव कक्ष में बेहतर व्यवस्था की गई है। जिसमें साफ सफाई, से लेकर हर पैमाने पर विशेष व्यवस्था की गई है।