District Adminstrationकिशनगंजबिहारब्रेकिंग न्यूज़राज्यस्वास्थ्य

किशनगंज : संक्रामक बीमारियों के साथ गैर संचारी रोगों के प्रति सतर्क रहने की जरूरत

प्रमुख स्वास्थ्य केंद्रों के साथ कई हेल्थ वेलनेस सेंटर पर जांच व इलाज की सुविधा, रोग संबंधी किसी भी लक्षण को टालें नहीं, तत्काल इलाज को दें प्राथमिकता

किशनगंज, 29 जून (के.स.)। धर्मेन्द्र सिंह, शुरुआती दौर में कोई भी बीमारी बेहद सामान्य दिखती है। लेकिन बीतते समय के साथ ये गंभीर रूप लेने लगता है। किसी तरह की शारीरिक समस्या को देर तक टालने का परिणाम लोगों को देर-सबेर भुगतना ही पड़ता है। इसलिए रोग संबंधी किसी लक्षण की तत्काल पहचान कर इसका समुचित इलाज कराया जाये। इसी क्रम शनिवार को गैर संचारी रोग पदाधिकारी डा. उर्मिला कुमारी की अध्यक्षता में टेढ़ागाछ सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में गैर संचारी रोग की स्क्रीनिंग पर गहन समीक्षा की गई। कहा उन्होंने बताया की आज संक्रामक बीमारियों के खतरे से पूरा विश्व परेशान है। ऐसे में आमतौर पर होने वाली गैर संचारी रोगों के प्रति भी पर्याप्त सक्रियता जरूरी है। वैसे रोग जो एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति में सीधे प्रसारित नहीं होते, उन्हें गैर संचारी रोगों की श्रेणी में रखा गया है। ब्लड प्रेशर, डायबिटीज, मोतियाबिंद, हृदय संबंधी रोग, अल्जाइमर, पार्किंगसन सहित अन्य कई रोग गैर संचारी रोगों की सूची में शामिल हैं। इसके लिए जिले के सभी सामुदायिक, प्राथमिक एवं रेफरल स्वास्थ्य केंद्र, सदर अस्पताल सहित सभी हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर में गैर संचारी रोगों की जांच सुविधा निशुल्क उपलब्ध है सिर्फ जरुरत है तो जागरूकता की आमजनो को अपने नजदीकी स्वास्थ्य केन्द्रों में जाकर इसका लाभ जरुर उठाना चाहिए वही आशा दीदी के द्वारा भी 30 वर्ष से ऊपर के सभी लोगो का सीबेक फॉर्म भरा जा रहा है। जिला गैर संचारी रोग पदाधिकारी डा. उर्मिला कुमारी ने बताया की 30 वर्ष से अधिक आयु के लोगों को विभिन्न तरह के गैर संचारी रोगों की चपेट में आने की संभावना अधिक होती है। लिहाजा इससे अधिक उम्र के लोगों को नियमित रूप से अपनी स्वास्थ्य की जांच करानी चाहिये। इस संबंध में एसीएमओ डॉ सुरेश प्रशाद ने बताया कि जिले के प्रमुख स्वास्थ्य केंद्रों पर जांच व इलाज की सुविधा उपलब्ध है। सदर अस्पताल में तो इसके लिये अलग से इंतजाम उपलब्ध है। इसके अलावा सभी पीएचसी व हेल्थ एंड वेलनेस सेंटर, जहां ओपीडी सेवा उपलब्ध है, वहां भी जांच व इलाज की सुविधा उपलब्ध है। गैर संचारी रोग पदाधिकारियों को गैर संचारी रोगों की जांच के लिए स्वास्थ्य संस्थानों में विशेष मेडिकल किट उपलब्ध कराया गया है। इसमें ब्लड प्रेशर जांच मशीन, ग्लूकोमीटर सहित अन्य जांच उपकरण शामिल हैं। जांच में रोग की पुष्टि होने पर रोगियों को संबंधित दवाएं मुफ्त में उपलब्ध करायी जाती है।सिविल सर्जन डा. राजेश कुमार ने बताया कि विभिन्न तरह के गैर संचारी रोगों के लिये अलग-अलग कारण हो सकते हैं। इसमें अनियमित दिनचर्या व खान-पान की गलत आदतें प्रमुख हैं। गैर संचारी रोग पदाधिकारी डॉ उर्मिला कुमारी ने बताया की नमक का अधिक सेवन, नशापान, तनाव, मोटापा गुर्दा व उच्च रक्तचाप भी इसके कारण हो सकते हैं। बार-बार पेशाब आना, वजन में गिरावट, ज्यादा भूख लगना डायबिटीज का लक्षण है। इसी तरह शरीर के किसी अंग में असामान्य सूजन, गांठ या कड़ापन, तिल, मस्से के आकार या रंग में परिवर्तन, ना खत्म होने वाला घाव, लगातार बुखार, वजन में गिरावट सहित अन्य कई लक्षण कैंसर रोग के शुरुआती लक्षणों से जुड़े होते हैं। महिलाओं में मासिक धर्म के दौरान असामान्य रक्त स्राव, स्तन के आकार में परिवर्तन के रूप में भी कैंसर के लक्षण उजागर होते हैं। मोटापा, उच्च रक्तचाप, मधुमेह आगे चलकर कई अन्य बीमारियों के कारण बनते हैं। ऐसे किसी भी रोग से बचाव के लिये नियमित व्यायाम, संतुलित आहार का सेवन के साथ-साथ नशापान की आदतों से पर्याप्त दूरी बनाये रखना जरूरी होता है। बावजूद इसके नियमित रूप से लोगों को अपना स्वास्थ्य परीक्षण कराते रहना चाहिये। ताकि शुरुआती दौर में ही रोग का पता चल सके। इससे संबंधित रोग का उपचार आसान होता है।

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button