किशनगंज : भव्या एप पर दर्ज होगी मरीजों के निबंधन, जांच एवं इलाज की जानकारी
भव्या एप का सफल क्रियान्वयन सुनिश्चित कराने के उद्देश्य से जिले में स्वास्थ्य कर्मियों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है
किशनगंज, 21 फरवरी (के.स.)। धर्मेन्द्र सिंह, स्वास्थ्य विभाग द्वारा मरीजों को उपलब्ध करायी जाने वाली तमाम सेवाएं अब ऑनलाइन दर्ज होगा। इसे लेकर मुख्यमंत्री डिजिटल हेल्थ योजना के तहत स्वास्थ्य विभाग द्वारा तैयार भव्या एचआईएमएस सॉफ्टवेयर तैयार किया गया है। इसमें मरीजों निबंधन से लेकर जांच व इलाज संबंधी तमाम जानकारी डिजिटली दर्ज की जायेगी। भव्या एप का सफल क्रियान्वयन सुनिश्चित कराने के उद्देश्य से जिले में स्वास्थ्य कर्मियों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इसमें जिले के सभी छोटे बड़े सरकारी अस्पतालों में कार्यरत सभी स्वास्थ्य अधिकारियों और कर्मचारियों को प्रशिक्षण दिया जाएगा। बुधवार को सदर अस्पताल सभागार में कार्यक्रम में सभी प्रखंड के सभी चिकित्सकों और नर्सों को भव्या एप का प्रशिक्षण राज्य स्वास्थ्य समिति, पटना से आए हुए प्रशिक्षक द्वारा दिया गया। इस कार्येक्रम को सफल और बेहतर रूप से क्रियावाहन करने हेतु आज जिला सदर अस्पताल पे भाव्या का एक दिवसीय कार्यशाला किया गया जो राज्य स्वास्थ समिति, पटना से आई हुई उच्चस्तरीय प्रशिक्षकों के देख रेख में हुआ। इस कार्यशाला में जिला स्वास्थ विभाग के आला अधिकारीगण मौजूद रहे। सिविल सर्जन डा. मंजर आलम, जिला प्रतिरक्षण पदाधिकारी देवेंद्र कुमार, सदर अस्पताल उपाधीक्षक डा. अनवर हुसैन, डीपीएम डा. मोनाजिम, जिला मूल्यांकन एवं अनुश्रवण पदाधिकारी कोशलेंद्र कुमार, जिला के सभी प्रखंड स्तरीय स्वास्थ केन्द्रों के अधिकारीगण शामिल थे। इस पुरे कार्यक्रम का संचालन भाव्या एमएसपी टीम के अधिकारी राजेश कुमार एवं निसार राघिब के द्वारा किया गया।सिविल सर्जन डा. मंजर आलम ने बताया कि भव्या बिहार हेल्थ एप्लीकेशन विजनरी योजना फॉर ऑल का लघु रूप है। इसे राज्य सरकार ने स्वास्थ्य सेवाओं में डिजिटल कामकाज को बढ़ावा देने व एक ही प्लेटफार्म पर रोगियों का डाटा संग्रह किये जाने के उद्देश्य से लागू किया है। अब भव्या एप पर ही मरीजों का निबंधन होगा, निबंधन के बाद ओपीडी में डाक्टर भी भव्या एप पर ही मरीजों को सभी तरह की जांच व दवा प्रिसक्राइब करेंगे। मरीज की जांच रिपोर्ट भी भव्या एचआईएमएस पर ही अपलोड की जायेगी। इसके साथ ही मरीजों को अस्पताल से उपलब्ध की जा रही दवा की जानकारी भी इस एचआईएमएस पर अपलोड रहेगा। स्वास्थ्य विभागीय टीम के प्रशिक्षण प्रबंधक ने बताया कि भव्या एप के माध्यम से किसी मरीज से संबंधित पूरी जानकारी डिजीटली संरक्षित रहेगा। इलाज के लिये मरीजों को बार-बार पर्चा नहीं कटाना होगा। और इलाज के लिये पर्चा लेकर आने की झंझट से भी मुक्ति मिल जायेगी। भव्या एप पर मरीजों की आईडी पर उपलब्ध रिकार्ड के आधार पर उनका इलाज संभव हो सकेगा। सिविल सर्जन डा. मंजर आलम ने बताया कि भव्या एप के जरिये मरीजों को उपलब्ध तमाम सेवाएं पेपर लेस होगा। मरीजों के इलाज से संबंधित तमाम रिकार्ड ऑनलाइन दर्ज रहेगा। इससे स्वास्थ्य सेवाओं के सुदृढीकरण के साथ-साथ मरीजों को उपलब्ध सेवाओं की निगरानी व निरीक्षण की प्रक्रिया आसान होगी। मरीजों को इलाज, दवा, जांच से संबंधित रिकार्ड को संरक्षित रखने की जरूरत नहीं होगी। मरीजों के 14 अंकों के आईडी खोल कर डाक्टर मरीज से संबंधित सभी जानकारी जुटाते हुए उनका इलाज करने में सक्षम होंगे। मूल्यांकन एवं अनुश्रवण पदाधिकारी सह कार्यक्रम के नोडल पदाधिकारी कोसलेंद्र कुमार ने बताया कि भव्या एप के सफल क्रियान्वयन को लेकर चिकित्सकीय सेवाओं से जुड़े तमाम कर्मियों को उपलब्ध कराया जायेगा। भव्या के क्रियान्वयन का मुख्य फायदा ये होगा कि मरीजों को दिये जा रही सुविधाओं का डिजिटल रिकॉर्ड रहेगा। मरीज के डिजिटल रिकॉर्ड को किसी भी अस्पताल में देखा जा सकेगा। बीमारी के लक्षणों के डिजिटल रिकॉर्ड के आधार पर लोकलाइज्ड प्लानिंग में सहयोग मिलेगा। मरीज को दी जा रही सुविधाओं का पूरी तरह सत्यापन हो सकेगा। मरीज को दी गई पैथोलॉजिकल जांच का रिजल्ट मरीजों के मोबाइल पर उपलब्ध होने लगेगा। गर्भवती महिलाओं को उनके एचपी, बीपी व अन्य जांच से संबंधित जानकारी तुरंत उपलब्ध हो सकेगा।