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किशनगंज : चार करोड़ 65 लाख 39 हजार 754 रुपये की लागत से गौशाला शमशान घाट मे बन रहे विद्युत शवदाह गृह का घटिया सामग्री से हो रहा निर्माण

ठेकेदार और वुडको अभियंता कठघरे में, वार्ड पार्षद प्रतिनिधि कुमार विशाल उर्फ डब्बा ने जारी की उपयोग में लाई जा रही सामग्री की वीडियो क्लीपिंग

  • शवदाह गृह का निर्माण कार्य में गड्ढे की बालू से किया जा रहा है। बालू में घास व मिट्टी मिली हुई है। किशनगंज में बनी दो नंबर की सरिया, दो नंबर का सीमेंट से कार्य कराया जा रहा है

किशनगंज, 27 जुलाई (के.स.)। धर्मेंद्र सिंह, नगर परिषद क्षेत्र अंतर्गत पूरब पाली रोड स्थित गौशाला की भूमि पर शमशान घाट है, जहां विद्युत शवदाह गृह का निर्माण घास व मिट्टी वाली गड्ढे की बालू एवं घटिया सामग्री से किया रहा है। वार्ड पार्षद प्रतिनिधि सह समाज सेवी कुमार विशाल उर्फ डब्बा ने यह जानकारी गुरुवार को दी। जानकारी के मुताबिक शवदाह गृह का निर्माण कार्य में गड्ढे की बालू से किया जा रहा है। बालू में घास व मिट्टी मिली हुई है। किशनगंज में बनी दो नंबर की सरिया, दो नंबर का सीमेंट से कार्य कराया जा रहा है। वार्ड पार्षद प्रतिनिधि कुमार विशाल उर्फ़ डब्बा ने वीडियो क्लीपिंग उपलब्ध कराते हुए कहा कि निर्माण कार्य में प्रशासनिक अधिकारी की मिलीभगत से नाकारा नहीं जा सकता। शवदाह गृह कार्य में रुपए का बंदरबांट किया जा रहा है। पूरे कार्य में भ्रष्टाचार व्याप्त है।उन्होंने कार्य की गुणवत्ता पर कहा कि मानक के अनुसार सामग्री नहीं लगाई जा रही है। वही संवेदक वसी रजा से फोन पर संपर्क करने पर आरोप को स्वीकार करते हुए कहा गया कि घटिया बालू सामग्री से कार्य की जानकारी मिलते ही कार्य को बंद करा दिया गया है। सामग्री की जांच उपरांत कार्य शुरू कराया जाएगा। गौर करे कि विद्युत शवदाह गृह योजना बिहार सरकार के मुख्य सचेतक विधान परिषद सह भाजपा प्रदेश सिक्किम प्रभारी डा. दिलीप कुमार जायसवाल के प्रयास से स्वीकृत हुआ है। इसकी प्राक्कलित राशि चार करोड़ 65 लाख 39 हजार 754 रुपये है। अधिकारिक जानकारी के अनुसार स्वीकृत राशि से एक विद्युत शवदाह और दो परंपरागत शवदाह गृह का निर्माण किया जाना है। शवदाह गृह आधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित होगा। कार्य बुडको द्वारा करवाया जा रहा है। ऐसे कार्य में ठेकेदार और विभागीय अभियंता के साथ प्रशासनिक अधिकारी भी कठघरे मेंं हैं।

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