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किशनगंज : डीएम ने किया जिला स्तरीय युवा उत्सव का आयोजन की तैयारियों की समीक्षा

कला, संस्कृति क्षेत्र में अभिरुचि रखने वाले प्रतिभागियों के लिए सुनहरा अवसर, उत्कृष्ट कलाकार राज्य स्तरीय युवा उत्सव में होंगे सम्मिलित

  • 15-16 सितंबर को होगा आयोजन, 10 सितंबर तक आवेदन करने की तिथि विस्तारित

किशनगंज, 04 सितंबर (के.स.)। धर्मेन्द्र सिंह, जिला-स्तरीय युवा उत्सव, 2023-24 का आयोजन की तैयारियों के लेकर डीएम श्रीकांत शास्त्री की अध्यक्षता में समाहरणालय सभागार में समीक्षा बैठक सोमवार को आयोजित की गई। प्राप्त आवेदन की समीक्षा कर आवेदन जमा करने की तिथि 5 सितंबर से विस्तारित कर 10 सितंबर कर दिया गया है। जिला स्तरीय युवा उत्सव का आयोजन 15-16 सितंबर को किया जाने का निर्णय लिया गया। यह कार्यक्रम एमजीएम मेडिकल कॉलेज अस्पताल के ऑडिटोरियम में कराया जाएगा। जिला कला एवम संस्कृति पदाधिकारी, रंजीत कुमार ने कहा कि जिला प्रशासन द्वारा जिला-स्तरीय युवा उत्सव का आयोजन पूरे धूम-धाम से कराया जाएगा। जिला-स्तर पर आयोजित युवा उत्सव से चयनित प्रथम स्थान प्राप्त कलाकार, दल कला, संस्कृति एवं युवा विभाग द्वारा आयोजित राज्य स्तरीय युवा उत्सव में भाग लेंगे, जो सारण (छपरा) में सितंबर के तीसरे सप्ताह में प्रस्तावित है। सितंबर में युवा उत्सव आयोजन अंतर्गत 15 और 16 सितंबर को प्रदर्श कला और चक्षुष कला प्रतियोगिता संपन्न होगी। प्रदर्श कला के अन्तर्गत निम्न विधा के युवा (15 से 35 वर्ष तक) भाग ले सकते हैं। समूह गायन-संगत कलाकार सहित दस कलाकार समूह लोक नृत्य-संगत कलाकार सहित कुल बीस कलाकार। नृत्य एवं गायन वाद्य वादन पारंपरिक होंगे। शास्त्रीय नृत्य-(कत्थक, ओडिसी, भरतनाट्यम, मणिपुरी, कुचिपुड़ी)-प्रस्तुति एकल होगी। संगत कलाकार सहित अधिकतम पाच कलाकार हो सकते हैं। इसमें संगत कलाकार 35 वर्ष के ऊपर हो सकते हैं। शास्त्रीय गायन-एकल प्रस्तुति-संगत कलाकार सहित तीन सदस्य (हिन्दुस्तानी/कर्नाटकी शैली) शास्त्रीय वादन-एकल प्रस्तुति (सितार, गिटार, तबला, बाँसुरी, वीणा, मृदंगम (पखावज नहीं) हारमोनियम वादन (सुगम)-एकल। एकांकी नाटक-अधिकतम बारह कलाकार, भाषा हिन्दी वक्तृता (हिन्दी या अंग्रेजी)-एकल। उपरोक्त के अतिरिक्त अन्य विधाओं के युवा कलाकारों के प्रोत्साहन हेतु राज्य सरकार का निर्णय है कि जिला स्तर पर एवं राज्य स्तर पर लोक गाथा गायन, लोकगीत, सुगम संगीत, वायलिन वादन, सारंगी वादन, सरोद वादन, शहनाई, पखावज, धुपद-धगाड़ की प्रतियोगिता भी होगी। चाक्षुष कला के अन्तर्गत निम्न विधा के युवा (15 से 35 वर्ष तक) भाग ले सकते हैं। चित्रकला, मूर्ति कला, हस्तशिल्प, फोटोग्राफी आदि। प्रदर्श कला के उक्त अतिरिक्त विधाओं और चाक्षुष कला के विधाओं में प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय स्थान प्राप्त कलाकारों को अन्य कार्यक्रमों के लिए सूचीबद्ध किया जायेगा। प्रतिभागियों को पूर्व में आवेदन समर्पित कर निबंधन कराना अनिवार्य होगा। समाहरणालय स्थित जिला सामान्य प्रशाखा में आवेदन जमा किया जा सकता है। सरकारी विद्यालय के प्रतिभागी जिला शिक्षा कार्यालय के माध्यम से भी आवेदन भेजवा सकते है। बिना निबंधन के युवा उत्सव में भाग नहीं ले सकते है। कलाकार, प्रतिभागियों को वेष-भूषा, परिधान, वाद्ययंत्र, मंच सामग्री और संगत कलाकार की व्यवस्था स्वयं करनी होगी। आयोजक द्वारा इसकी आपूर्ति नहीं की जायेगी। मंच, ध्वनि और प्रकाश की व्यवस्था अनुरूप प्रदर्शन करना होगा। रिकॉर्डेड गाने की अनुमति नहीं होगी। निर्णायक मंडल का निर्णय अंतिम होगा। जिला स्तरीय युवा उत्सव में प्रतिभागियों की आधिकाधिक भागीदारी के निमित डीएम श्रीकांत शास्त्री ने स्थानीय युवा वर्ग से अपील कर कहा कि कला एवं संस्कृति के क्षेत्र में प्रोत्साहन देने हेतु युवा उत्सव एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। इच्छुक एवं योग्य युवा इसका लाभ उठाए। उन्होंने निर्देश दिया कि जिला शिक्षा पदाधिकारी सभी विद्यालयों एवं महाविद्यालयों को इस बारे में विधिवत सूचना उपलब्ध करा दें और सभी संगीत शिक्षक के साथ बैठक बुलाएं। जिला युवा उत्सव से संबंधित आवश्यक सूचना जिला सामान्य प्रशाखा (समाहरणालय) से प्राप्त की जा सकती है।

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