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युद्ध कौशल,पराक्रम,अदम्य साहस व अतुल्य शौर्य के प्रतीक और प्रथम भारतीय स्वतंत्रता संग्राम 1857 के रणबांकुरे सेना नायक वीर कुंवर सिंह जी जयंती पर बिहार विधान सभा के माननीय अध्यक्ष श्री नन्द किशोर यादव ने उन्हें कोटिशः नमन करते हुए भावभीनी भावांजलि अर्पित की है।

त्रिलोकी नाथ प्रसाद/। ब्रिटिश सेना के खिलाफ वर्ष 1857 के भारतीय विद्रोह में साहसी सेना नायक के रूप में वीर कुंवर सिंह का योगदान अतुल्य व अविस्मरणीय था। उन्होंने अपनी आखिरी सांस तक मातृभूमि की रक्षा करने की राह में स्वयं को समर्पित कर दिया। ध्यातव्य है कि 23 अप्रैल 1858 को जगदीशपुर के पास लड़ी गई उनकी आखिरी लड़ाई में ईस्ट इंडिया कंपनी के नियंत्रण वाली सेना पूरी तरह से परास्त हो गई थी। 80 वर्ष की उम्र में अपनी वीरता और युद्ध कौशल से ब्रिटिश सत्ता के विरुद्ध आन बान शान की लड़ाई लड़ने वाले महान देशभक्त और अमर बलिदानी वीर कुंवर सिंह की वीरगाथा सदैव युवाओं को राष्ट्र सेवा के लिए प्रेरित करता रहेगा।