हाईकोर्ट ने नालन्दा डीएम को पूर्ण हलफनामा करने दिया निर्देश।

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पूर्ण हलफनामे दायर करने के लिये चार हफ्ते का मिला समय

मामला माता महाकाली मंदिर और महंथ विद्यानंद कॉलेज की जमीन विवाद से जुड़ा

सोनू कुमार हिलसा (नालंदा):- शहर के माता महाकाली मन्दिर और महंथ विद्यानंद कॉलेज के बीच चले आ रहे जमीन विवाद का मामला एक बार फिर तूल पकड़ा है।पटना उच्च न्यायलय के न्यायमूर्ति मोहित कुमार शाह ने माता महाकाली मन्दिर एव महंथ विद्यानंद कॉलेज के जमीन अतिक्रमण विवाद मामले में नालंदा के डीएम को जबाबी हलफनामा दायर करने का आदेश दिया है।जबाबी हलफनामे में अतिक्रमण हटाने में अबतक अधिकारियों की विफलता की पूर्ण जांच एव सम्बंधित अधिकारियों के विरुद्ध की गई कार्रवाई का पूर्ण विवरण उपलब्ध कराना है।न्यायमूर्ति शाह ने पूर्ण जबाबी हलफनामा दायर करने के लिये चार हफ्ते का समय निर्धारित किया है।इस मामले की अगली सुनवाई की तारीख 20 जून 2023 निर्धारित की गई है।यह याचिका हिलसा के सुरेंद्र प्रसाद के द्वारा दायर किया गया था।जिसमे बिहार सरकार के साथ राजस्व एव भूमि सुधार विभाग बिहार के प्रधान सचिव, बिहार विद्यालय परीक्षा समिति के अध्यक्ष, हिलसा अंचल के सीओ एव महंथ विद्यानंद कॉलेज के प्राचार्य प्रतिवादी है।परिवादी सुरेंद्र प्रसाद ने याचिका में आरोप लगाया है कि बिहार सार्वजनिक जमीन अतिक्रमण अधिनियम 1956 को धारा 6 (1) के अंतर्गत हिलसा के अंचल अधिकारी ने अतिक्रमण वाद संख्या 2/2022-23 में अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई आजतक नही की गई है । जबकि सुरेंद्र प्रसाद द्वारा ही पूर्व में दायर सिविल रीट 4509/2022 में पटना उच्च न्यायलय के मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति संजय करोल एव न्यायमूर्ति एस कुमार की बेंच ने वीते वर्ष 8 अप्रैल को याचिका निस्तारित करते हुए महादेव महाकाली मन्दिर एव महंथ विद्यानन्द कॉलेज के बीच चले आ रहे जमीन विवाद को चार महीने के अंदर निष्पादित करने का आदेश दिए थे।उक्त रीट याचिका में याचिकाकर्ता ने महंथ विद्यानन्द कॉलेज पर फर्जी दस्तावेज के आधार पर शासकीय भूमि गैरमजरूआ आम जमीन का अतिक्रमण कर कॉलेज स्थापित करने एव कपट पूर्ण कार्य कर सरकार से वितीय सहायता प्राप्त करने का आरोप लगाया था।याचिकाकर्ता ने महादेव माता महाकाली मन्दिर की 17 डिसमिल जमीन की मापी कर निकालने की मांग किया था।