जिलाधिकारी एवं वरीय पुलिस अधीक्षक ने तैयारियों की समीक्षा की, पदाधिकारियों को भारत निर्वाचन आयोग के दिशा-निर्देशों का अक्षरशः अनुपालन सुनिश्चित करने का निदेश दिया
सभी पदाधिकारी न केवल निष्पक्षता के साथ कार्य करेंगे बल्कि लोगों के बीच उनकी कार्य-निष्पक्षता परिलक्षित भी होनी चाहिएः ज़िलाधिकारी का अधिकारियों को निदेश
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विधानसभा चुनाव के सफलतापूर्वक संचालन हेतु सभी 21 कोषांग सतत क्रियाशील है
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18-19 साल के नये मतदाताओं, महिला मतदाताओं, दिव्यांगजन, वरिष्ठ नागरिकों सहित सभी मतदाताओं के लिए मतदान केन्द्रों पर उत्कृष्ट व्यवस्था रहेगीः ज़िलाधिकारी
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स्वतंत्र, निष्पक्ष, भयमुक्त, पारदर्शी एवं सहभागितापूर्ण चुनाव सम्पन्न कराना प्रशासन की सर्वाेच्च प्राथमिकता; संपूर्ण प्रशासनिक तंत्र इसके लिए सजग, तत्पर एवं प्रतिबद्धः डीएम व एसएसपी
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हम लोकतंत्र के इस उत्सव को एक सुखद अनुभव बनाने के लिए प्रतिबद्ध हैं; सुगम, सहज, सुरक्षित एवं समावेशी चुनाव कराने के लिए सभी कार्रवाई की जा रही हैः ज़िलाधिकारी
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त्रिलोकी नाथ प्रसाद/जिला निर्वाचन पदाधिकारी-सह-जिलाधिकारी, पटना डॉ. त्यागराजन एस.एम. एवं वरीय पुलिस अधीक्षक, पटना श्री कार्तिकेय के. शर्मा द्वारा बिहार विधानसभा आम निर्वाचन, 2025 की तैयारियों की समीक्षा की गई तथा अद्यतन प्रगति का जायजा लिया गया। अधिकारीद्वय ने पदाधिकारियों को भारत निर्वाचन आयोग के निदेशों का अक्षरशः अनुपालन सुनिश्चित करने का निदेश दिया। जिलाधिकारी ने कहा कि भारत निर्वाचन आयोग द्वारा आज दिनांक 06.10.2025 को बिहार विधानसभा आम निर्वाचन, 2025 के लिए प्रेस नोट जारी किया जा चुका है। प्रेस नोट जारी होते ही सम्पूर्ण जिला में आदर्श आचार संहिता लागू हो गई है। सभी स्टेकहोल्डर्स यथा राजनैतिक दल, अभ्यर्थी, सरकारी पदाधिकारी/कर्मी, आम आदमी इसका अक्षरशः अनुपालन सुनिश्चित करेंगे। इसमें किसी भी प्रकार की शिथिलता, लापरवाही या अनियमितता बर्दाश्त नहीं की जाएगी। जिलाधिकारी ने कहा कि 06 नवम्बर, 2025 को पटना जिला अंतर्गत सभी 14 विधान सभा निर्वाचन क्षेत्रों में मतदान की तिथि निर्धारित है। 14 नवम्बर को मतगणना होना है। जिलाधिकारी एवं वरीय पुलिस अधीक्षक ने कहा कि स्वतंत्र, निष्पक्ष, भयमुक्त, पारदर्शी एवं सहभागितापूर्ण वातावरण में सम्पन्न कराने के लिए जिला प्रशासन सजग, तत्पर एवं प्रतिबद्ध है। सम्पत्ति विरूपण की घटना को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। अधिनियम का उल्लंघन करने वालों के विरूद्ध विधि-सम्मत सख्त कार्रवाई की जाएगी। जिलाधिकारी ने कहा कि निर्वाचन कार्य को सफलतापूर्वक सम्पन्न कराने के लिए 21 कोषांगों का गठन किया गया है। ये सभी सतत क्रियाशील है। सभी कोषांगों के वरीय नोडल पदाधिकारियों एवं नोडल पदाधिकारियों का दायित्व पहले से ही तय है। संबंधित पदाधिकारीगण अपने-अपने दायित्वों का सफलतापूर्वक निर्वहन करें। भारत निर्वाचन आयोग के निदेशों का अक्षरशः अनुपालन सुनिश्चित करें।
जिलाधिकारी ने कहा कि पूरे पटना जिला के 14 विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रों में 5,665 मतदान केन्द्र है जो 2,981 मतदान केन्द्र अवस्थितियों (पोलिंग स्टेशन लोकेशन) में स्थित है। सभी मतदान केन्द्रों पर कार्मिकों की नियुक्ति जिला निर्वाचन पदाधिकारी-सह-जिलाधिकारी, पटना द्वारा की जा रही है। कार्मिक कोषांग के नोडल अधिकारी को चुनाव के लिए कार्मिकों की आवश्यकता एवं उपलब्धता के आकलन के अनुसार कार्रवाई करने का निर्देश दिया गया है। जिलाधिकारी ने कहा कि हरएक बूथ पर आयोग द्वारा निर्धारित मानकों के अनुसार पीठासीन पदाधिकारी, मतदान पदाधिकारी-1, 2 एवं 3 की तैनाती, माइक्रोऑब्जर्वर, मतगणना हेतु मतगणना कर्मियों इत्यादि (रिजर्व सहित) के प्रारंभिक आकलन के अनुसार निर्वाचन में करीब 40,000 (चालीस हजार) कार्मिकों की आवश्यकता होगी। इससे अधिक संख्या में कार्मिक उपलब्ध हैं। कर्मियों का डाटाबेस तैयार कर पोर्टल पर इन सबकी इन्ट्री की गई है। आयोग द्वारा निर्धारित मापदंडों के अनुसार समुचित संख्या में कर्मियों को सुरक्षित भी रखा जा रहा है। जिलाधिकारी ने कहा कि इन सभी कार्मिकों को विधिवत ढंग से प्रशिक्षण दिया जा रहा है। जिला-स्तरीय प्रशिक्षण कार्य योजना तैयार की गई है। करीब 648 मास्टर ट्रेनर्स द्वारा निर्वाचन कार्य में संलग्न हरएक पदाधिकारी एवं कर्मी को अनेक चरणों में प्रशिक्षित किया जा रहा है। इन सभी को चुनाव के हर पहलू के बारे में विधिवत प्रशिक्षण दिया जाएगा। इससे वे अपने दायित्वों का आयोग के निर्देशों के अनुरूप त्रुटिरहित ढंग से निर्वहन करने में सक्षम होंगे। ज़िलाधिकारी ने कहा कि प्रथम चरण का प्रशिक्षण प्रारंभ चल रहा है जिसमें लगभग 40 से 45 हजार पदाधिकारियों एवं कर्मियों को प्रशिक्षण दिया जाएगा। कुल 1,126 सेक्टर पदाधिकारियों तथा सेक्टर पुलिस पदाधिकारियों के साथ-साथ उड़नदस्ता, एसएसटी, वीएसटी, वीवीटी आदि को पहले चरण का प्रशिक्षण दिया जा चुका है। 7 अक्टूबर से 6 प्रशिक्षण स्थलों पर मतदान पदाधिकारियों, माइक्रो ऑब्जर्वर एवं मतगणना पदाधिकारियों को प्रशिक्षण दिया जाएगा।
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जिलाधिकारी ने कहा कि निर्वाचन कार्य में प्रतिनियुक्त सभी पदाधिकारी लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम के तहत प्रतिनियुक्ति की तारीख से निर्वाचन परिणाम के घोषित किए जाने की तारीख तक भारत निर्वाचन आयोग में प्रतिनियुक्त समझे जाते हैं और तदनुसार उस अवधि के दौरान भारत निर्वाचन आयोग के नियंत्रण, अधीक्षण और अनुशासन के अधीन कार्यरत रहते हैं। जिलाधिकारी ने कहा कि सभी पदाधिकारी न केवल निष्पक्षता के साथ कार्य करेंगे बल्कि लोगों के बीच उनकी कार्य-निष्पक्षता परिलक्षित भी होनी चाहिए। जिलाधिकारी ने कहा कि किसी तरह की लापरवाही, अनियमितता या शिथिलता पर लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम, 1950 की धारा 32 के तहत दोषी अधिकारियों एवं कर्मियों के विरूद्ध विधि-सम्मत सख्त कार्रवाई की जाती है। जिलाधिकारी ने कहा कि सभी पदाधिकारियों एवं कर्मियों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है ताकि वे अपने दायित्वों का आयोग के निर्देशों के अनुरूप त्रुटिरहित ढंग से निर्वहन करने में सक्षम हों।
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जिलाधिकारी ने कहा कि आदर्श आचार संहिता प्रेस नोट जारी होते ही सम्पूर्ण जिला में प्रभावी हो गया है तथा प्रेस नोट के आलोक में निर्वाचन की प्रक्रिया पूर्ण होने की घोषित तिथि 16 नवम्बर, 2025 तक लागू रहेगी। यह सभी राजनैतिक दलों, अभ्यर्थियों एवं सरकारी कर्मियों के साथ आम आदमी पर भी लागू होता है। प्रेस नोट जारी होते ही 24 घंटे के अंदर सभी राजनीतिक दलों के बैनर/पोस्टर/होर्डिंग/दीवाल लेखन हटाना अनिवार्य है अन्यथा संबंधित दल के जिलाध्यक्ष/सचिव पर कार्रवाई की जा सकती है। सरकारी कार्यालय एवं परिसर से 24 घंटे के अंदर बैनर/पोस्टर/होर्डिंग इत्यादि हटाना आवश्यक है। सरकारी सम्पत्ति/स्थानों आदि से 48 घंटे के अंदर बैनर/पोस्टर/होर्डिंग इत्यादि हटाना आवश्यक है। निजी भवन/परिसर से 72 घंटे के अंदर बैनर/पोस्टर/होर्डिंग इत्यादि हटाना आवश्यक है। मत प्राप्ति हेतु किसी को डराना, धमकाना या रिश्वत देना कानूनी अपराध है। मतदान समाप्ति के 48 घंटे पूर्व प्रचार करना/राजनीतिक बैठक करना निषेध है। किसी के मकान/दीवार पर बिना उनके अनुमति के लेखन करना/पोस्टर लगाना निषेध है। दूसरे दल के जुलूस को बाधा पहुँचाना, दूसरे दल या प्रत्याशी के बैनर/पोस्टर/होर्डिंग हटाना अपराध है। जिलाधिकारी ने निदेश दिया कि सभी स्टेकहोल्डर्स निर्वाचन की प्रक्रिया पूर्ण होने तक आयोग द्वारा निर्गत ‘‘क्या करें, क्या न करें’’ का अनुपालन करें।
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जिलाधिकारी ने कहा कि बिहार विधानसभा आम निर्वाचन के सफलतापूर्वक संचालन हेतु डिस्ट्रिक्ट इलेक्शन मैनेजमेंट प्लान एवं बूथ मैनेजमेंट प्लान का क्रियान्वयन किया जा रहा है। अधिकारियों को उत्कृष्ट एवं प्रभावी बूथ-लेवल कॉम्युनिकेशन प्लान बनाने का निदेश दिया गया है। उन्होंने कहा कि वाहन कोषांग द्वारा वाहनों की आवश्यकता का आकलन कर उपलब्धता सुनिश्चित की जाएगी। विधान सभावार वाहन कोषांग क्रियाशील रहेगा। कुल 13 स्थानों पर वाहन कोषांग का संचालन किया जाएगा जिसमें गाँधी मैदान, पटना में दो विधान सभा क्षेत्रों का वाहन कोषांग चलेगा। इसके नोडल अधिकारी को मापदंडों के आधार पर वाहनों की आवश्यकता-उपलब्धता सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया है।
जिलाधिकारी ने कहा कि निर्वाचन लोकतांत्रिक ढांचा का रीढ़ एवं भारतीय गणतंत्र का आधार है। जिला प्रशासन निर्वाचन कार्य को उत्सवी माहौल में सम्पन्न कराने के लिए प्रतिबद्ध है। सभी निर्वाचक निबंधन पदाधिकारियों को मतदान केन्द्रों पर सुनिश्चित न्यूनतम सुविधाओं यथा पेयजल, शौचालय, विद्युत व्यवस्था, रैम्प, साइनेज, शेड, फर्नीचर इत्यादि का भौतिक सत्यापन कर उपलब्धता सुनिश्चित करने का निदेश दिया गया है। उप विकास आयुक्त, पटना को इसका अनुश्रवण करने का निदेश दिया गया है।
जिलाधिकारी द्वारा बैठक में अपराधियों के विरूद्ध निरोधात्मक कार्रवाई एवं सीसीए के तहत कार्रवाई की समीक्षा की गई। भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की धारा-126, धारा-135, धारा-129, सीसीए-3 एवं सीसीए-12 के तहत विभिन्न मामलों में असामाजिक तत्वों के विरूद्ध कार्रवाई की समीक्षा की गई। जिलाधिकारी ने कहा कि चुनाव को देखते हुए निरोधात्मक कार्रवाई तथा शस्त्र अनुज्ञप्ति के सत्यापन पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है। अधिकारियों को निदेश दिया गया है कि शस्त्र अधिनियम का सख्ती से अनुपालन कराएँ। असामाजिक तत्वों के विरुद्ध निरोधात्मक कार्रवाई सुनिश्चित करें। मद्य निषेध अधिनियम का सख्ती से अनुपालन सुनिश्चित कराएँ। जिलाधिकारी ने अधिकारियों को निदेश दिया कि अपराधियों के विरूद्ध भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता की सुसंगत धाराओं यथा धारा-126, धारा-135 एवं धारा-129 के तहत विधिसम्मत कार्रवाई सुनिश्चित करें। उपद्रवी तत्वों से नियमानुसार बांड भरवाएँ। इसके लिए थानों में कैम्प कोर्ट का आयोजन करने का निदेश दिया गया। अधिकारियों को सीसीए-3 एवं सीसीए-12 के तहत अपराध नियंत्रण हेतु नियमों के अनुरूप कार्रवाई करने का निदेश दिया गया। जिलाधिकारी ने कहा कि शांति भंग करने की किसी भी चेष्टा को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। ऐसा करने वाले तत्वों के विरूद्ध सख्त-से-सख्त कार्रवाई की जाएगी। अधिकारियों को निदेश दिया गया है कि असामाजिक तत्वों के विरूद्ध सुसंगत धाराओं के तहत प्रभावी कार्रवाई किया जाए। आपराधिक प्रवृत्ति वाले व्यक्तियों के पूर्व के वृत्तांत को देखते हुए उनके विरूद्ध सजग रहकर विधिसम्मत कार्रवाई करें। भू-माफिया, बालू माफिया, शराब माफिया, मद्य निषेध के संगठित गिरोहांे एवं गैर-कानूनी आर्थिक गतिविधियों तथा अपराध में संलिप्त व्यक्तियों के विरूद्ध विधि-सम्मत सख्त कार्रवाई करें।
ज़िलाधिकारी ने अधिकारियों को प्रलोभन-मुक्त मतदान के लिए सघन अभियान चलाने का निदेश दिया। उन्होंने कहा कि मतदान केन्द्रवार भेद्यता मानचित्रण संबंधी कार्य किया जा रहा है। 563 सेक्टर पदाधिकारी तथा सेक्टर पुलिस पदाधिकारी भी वलनरेबल हैमलेट तथा वलनरेबल निर्वाचक की पहचान कर रहे हैं। वे भेद्य टोलों में लगातार भ्रमण कर लोगों से सम्पर्क संख्या प्राप्त कर रहे हैं। उन्हें भेद्य मतदाताओं के साथ नियमित बैठक कर मतदाताओं के बीच आत्मविश्वास जागृत करने का निदेश दिया गया है।
जिलाधिकारी ने कहा कि निर्वाचन व्यय के अनुश्रवण के लिए 24×7 टीम सक्रिय है। लगभग 20 इनफ़ोर्समेंट एजेन्सीज़ पैसों के ट्रांजैक्शन पर नजर रख रही है। सीमा पर मादक पदार्थ, अवैध शराब, जाली करेंसी, अनधिकृत राशि एवं बहुमूल्य धातुओं के परिचालन पर रोक तथा प्रभावी नियंत्रण हेतु जिला के अंदर 32 नाका/चेक पोस्ट स्थापित किया गया है। सीमावर्ती जिलों के अधिकारियों के साथ भी नियमित समन्वय किया जा रहा है। इन जिलों के साथ बैठकों का भी आयोजन होगा। मद्य निषेध के प्रभावी क्रियान्वयन के दृष्टिकोण से अनेक हॉटस्पॉट चिन्हित किया गया है तथा निरोधात्मक कार्रवाई की जा रही है। जिलाधिकारी ने कहा कि विधानसभा चुनाव के दौरान आदर्श आचार संहिता कोषांग तथा विधि-व्यवस्था कोषांग सतत क्रियाशील है। चुनाव में मानकों के अनुसार स्टैटिक सर्विलांस टीम (एसएसटी), फ्लाईंग स्क्वायड (एफएस) सहित विभिन्न टीम तैनात किया गया है। जिलाधिकारी ने कहा कि पदाधिकारियों को विधानसभा आम निर्वाचन के दरम्यान आदर्श आचार संहिता का अक्षरशः अनुपालन सुनिश्चित कराने का निदेश दिया गया है।
जिलाधिकारी ने अधिकारियों को यह सुनिश्चित करने का निदेश दिया कि किसी भी व्यक्ति/समूह द्वारा मतदाताओं को भयभीत न किया जाए तथा प्रलोभन न दिया जाए। राइट टू वोट पर किसी भी तरह का खतरा उत्पन्न करने की चेष्टा करने वालों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई करें।
जिलाधिकारी ने कहा कि असामाजिक तत्वों द्वारा निर्वाचकों को डराने, धमकाने, प्रभावित करने और प्रलोभन देने के सभी प्रयासों को डेडिकेटेड टीम द्वारा विफल किया जाएगा। डीएम ने कहा कि निर्वाचकों को प्रभावित करने के लिए नकदी या घूस की कोई भी वस्तु का वितरण या बाहुबल का इस्तेमाल करना अपराध है। असामाजिक तत्वों के विरूद्ध सख्त से सख्त कार्रवाई की जाएगी। सभी पदाधिकारी इस पर नजर रखेंगे।
ज़िलाधिकारी ने निर्वाचकों से भी बिना किसी भय या प्रलोभन के निर्वाचन प्रक्रिया में सक्रियता से भाग लेने की अपील की है। उन्होंने कहा कि भारतीय संविधान द्वारा प्रदत्त वयस्क मताधिकार का सुसूचित, नैतिक एवं प्रलोभन-मुक्त तरीके से प्रयोग कर हम अपने समृद्ध लोकतंत्र को एक नया आयाम दे सकते हैं।
ज़िलाधिकारी ने कहा कि स्वीप कोषांग के नोडल पदाधिकारी को सुव्यवस्थित मतदाता शिक्षा एवं निर्वाचक सहभागिता (स्वीप) कार्यक्रम के तहत मतदाताओं के बीच सघन जागरूकता अभियान चलाने के लिए निर्देशित किया गया है। वीटीआर में वृद्धि के लिए जिला स्वीप कोर कमिटि सतत सक्रिय है।
ज़िलाधिकारी द्वारा अधिकारियों को ईवीएम-वीवीपैट वितरण स्थलों, वज्रगृह स्थलों, अर्द्ध-सैनिक बलों का आवासन एवं परिवहन, तकनीकी प्रबंधन सहित सभी महत्वपूर्ण बिंदुओं पर विशेष ध्यान देने का निर्देश दिया गया है।
जिलाधिकारी ने सभी कोषांगों के पदाधिकारियों को अन्तर्काेषांगीय समन्वय स्थापित कर चुनाव को सफलतापूर्वक संपन्न कराने का निदेश दिया।
ज़िलाधिकारी ने कहा कि पूरे पटना जिला के 14 विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रों में 5,665 मतदान केन्द्र है जो 2,981 मतदान केन्द्र अवस्थितियों (पोलिंग स्टेशन लोकेशन) में स्थित है। लगभग 10-11 बूथ पर एक सेक्टर अधिकारी प्रतिनियुक्त हैं। 563 सेक्टर पदाधिकारियों के माध्यम से 5,665 मतदान केन्द्रों की मैपिंग कराई जा रही है। मतदान केन्द्रों पर सुनिश्चित न्यूनतम सुविधाएँ (एएमएफ) यथा रैम्प, शौचालय, बिजली, साईनेज, पेयजल, हेल्प डेस्क आदि की व्यवस्था रहेगी। 18-19 साल के नये मतदाताओं, महिला मतदाताओं, दिव्यांगजनों, वरिष्ठ नागरिकों सहित सभी मतदाताओं के लिए मतदान केन्द्रों पर उत्कृष्ट व्यवस्था रहेगी।
ज़िलाधिकारी ने कहा कि भेद्यता मानचित्रण, मतदान केन्द्रों पर एएमएफ की उपलब्धता, ईवीएम को किस तरह से मतदान केन्द्रों पर ले जाया जाएगा, पोलिंग पार्टी, पुलिस ऑफिसर एवं फोर्स की व्यवस्था, वाहन प्रबंधन, आदर्श आचार संहिता का अनुपालन, विधि-व्यवस्था का संधारण इत्यादि निर्वाचन के मुख्य आधार-स्तंभ हैं। अधिकारियों को निर्देशित किया गया है कि मानकों के अनुरूप पूरी तैयारी करें। सुगम, सहज, सुरक्षित एवं समावेशी चुनाव कराने के लिए सभी कार्रवाई करें।
ज़िलाधिकारी द्वारा सभी स्टेकहोल्डर्स से मापदंडों के अनुरूप निर्वाचन प्रक्रिया अपनाने हेतु अपील की गई है।
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जिलाधिकारी ने सभी 14 निर्वाचक निबंधन पदाधिकारियों तथा स्वीप कोषांग में शामिल लगभग 20 विभागों के जिला-स्तरीय पदाधिकारियों को आसन्न बिहार विधान सभा निर्वाचन, 2025 में 66 प्रतिशत वीटीआर को ध्यान में रखते हुए मिशन 60 अभियान को सफल बनाने का निदेश दिया है। इसके तहत प्रत्येक विधानसभा क्षेत्र में न्यूनतम मतदान प्रतिशत वाले चयनित 60 मतदान केन्द्रों पर विशेष प्रयासों के माध्यम से मतदान प्रतिशत को 66 प्रतिशत तक पहुँचाने का लक्ष्य है। इसके अतिरिक्त प्रत्येक विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र एवं पूरे पटना जिला के मतदान प्रतिशत को भी राष्ट्रीय औसत लगभग 66 प्रतिशत तक ले जाने का लक्ष्य रखा गया है। जिलाधिकारी ने कहा कि सभी पदाधिकारी इसके लिए सजग, तत्पर एवं प्रतिबद्ध रहें। जिलाधिकारी ने कहा कि लोकसभा आम निर्वाचन, 2024 में पटना जिला में मतदान प्रतिशत में अच्छी बढोतरी हुई थी। लगभग 4 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई थी। जिलेवासियों ने निर्वाचन प्रक्रिया में सक्रिय रूप से भाग लिया था। इस बार भी विधानसभा चुनाव में सभी के सहयोग से हमलोग वीटीआर को और बेहतर करेंगे। इसके लिए परम्परागत एवं आधुनिक दोनों तरीक़ों से सघन जागरूकता अभियान चलाया जाएगा। परंपरागत माध्यमों में रंगोली, पेंटिंग, मेहंदी, स्लोगन, पोस्टर, बैनर, फ्लेक्स इत्यादि शामिल है। आधुनिक माध्यमों में एक्स, फेसबुक एवं अन्य सोशल मीडिया, चौटबोट, ऐप, सेल्फी प्वायंट, तकनीक का इस्तेमाल इत्यादि का प्रयोग किया जाएगा। पटना जिला प्रशासन के सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म पर लगभग 2 लाख फॉलोअर हैं जिसमें छात्र-छात्रा, अभिभावक, शिक्षक, प्रोफेसर, कर्मचारी, अधिकारी, किसान, व्यवसायी, उद्यमी सभी शामिल हैं। इन प्रगतिशील, सुशिक्षित एवं प्रबुद्ध लोगों के माध्यम से जन-जन को वोट डालने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है। पटना जिला प्रशासन के सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म पर महिला फॉलोअर की संख्या भी काफी अच्छी है। इनके माध्यम से जेंडर रेशियो तथा महिलाओं के वोटिंग प्रतिशत में सुधार के लिए लगातार अभियान चलाया जा रहा है। जिलाधिकारी ने अधिकारियों को निदेश दिया है कि चुनाव में मतदान प्रतिशत बढ़ाने के लिए गाँव-गाँव में अभियान चलाएँ तथा लोगों को मतदान करने के लिए प्रोत्साहित करें। उन्होंने कहा कि शहरी क्षेत्रों में मतदान के प्रति उदासीनता अच्छी स्थिति नहीं है। इसमें परिवर्तन लाने के लिए स्वीप गतिविधि अंतर्गत नियमित तौर पर कार्यक्रम का आयोजन करें। जिन मतदान केन्द्रों पर पूर्व के चुनावों में कम वोटर टर्नआउट हुआ है वहाँ सघन जागरूकता अभियान चलाएँ। मतदाताओं को उनके मत का महत्व बताएँ तथा मतदान करने के लिए प्रेरित करें। डीएम ने कहा कि संविधान द्वारा प्रदत्त सार्वभौम वयस्क मताधिकार हम सभी के लिए बहुमूल्य है। जागरूक मतदाता हमारे समृद्ध लोकतंत्र की रीढ़ हैं। चुनावों में उच्च मतदान प्रतिशत इसे एक नया आयाम देगा।
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जिलाधिकारी ने कहा कि मतदाताओं की सहायता हेतु वोटर हेल्पलाईन टॉल-फ्री नम्बर 1950 कार्यरत है। निर्वाचकों को हर तरह की सहायता उपलब्ध करायी जा रही है।
’ ज़िलाधिकारी ने कहा कि हम लोकतंत्र के इस उत्सव को एक सुखद अनुभव बनाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। सभी निर्वाचकों से अपील है कि वे इस विधानसभा चुनाव में वोट जरूर दें। इससे हमारा समृद्ध लोकतंत्र और प्रस्फुटित होगा तथा इसे एक नया आयाम मिलेगा।
इस बैठक में जिलाधिकारी एवं वरीय पुलिस अधीक्षक के साथ नगर आयुक्त, पटना नगर निगम, उप विकास आयुक्त, सभी पुलिस अधीक्षक, सभी अनुमंडल पदाधिकारी, सभी अनुमंडल पुलिस पदाधिकारी, सभी कोषांगों के नोडल पदाधिकारी, सभी प्रखंड विकास पदाधिकारी, सभी अंचल अधिकारी, सभी नगर कार्यपालक पदाधिकारी एवं अन्य भी उपस्थित थे।