अररिया : होमगार्ड के साथ बदसलूकी करने और उठक-बैठक कराने वाले कृषि अधिकारी को प्रमोट कर डिप्टी डायरेक्टर बना दिया गया..

क्या पब्लिक की आंख में धूल झोंका है सरकार ने ? पहले होमगार्ड के साथ बदसलूकी करने और उठक बैठक कराने वाले कृषि अधिकारी को सस्पेंड करने की घोषणा की गयी और बताया गया कि सरकार भेदभाव नहीं करती।लेकिन जो लिखित आदेश जारी हुआ है उसके मुताबिक उस कृषि अधिकारी को प्रमोट कर डिप्टी डायरेक्टर बना दिया गया है।एएसआई गोविंद सिंह के सस्पेंड होने के बाद जिला कृषि पदाधिकारी पर भी कार्रवाई की मांग उठ रही थी, मगर बिहार सरकार ने इसके उलट कृषि पदाधिकारी को प्रमोशन देते हुए उन्हें कृषि विभाग में ही उप निदेशक बना दिया है।
अररिया/धर्मेन्द्र सिंह, होमगार्ड जवान से उठक बैठक करवाने वाले जिला कृषि पदाधिकारी अररिया को सूबे के सरकार द्वारा बेहद कड़ी सजा दी गयी है।ऐसी सजा दी गयी है जिससे मानवता को शर्मशार करने वाले लोगों की रूह कांप जाए।कृषि पदाधिकारी को तत्काल प्रभाव से उपनिदेशक का पद दिया गया है।आपको बताते चले कि कुछ दिनों पहले अररिया में एक वीडियो वायरल हुआ था, जिसमें जिला कृषि पदाधिकारी मनोज कुमार को पुलिस विभाग में चौकीदार गणेश तत्मा को सजा के तौर पर उठक-बैठक करवाते देखा गया था।इस मामले में पुलिस विभाग ने मौके पर मौजूद एएसआई गोविंद सिंह को सस्पेंड कर दिया, लेकिन जिस पदाधिकारी ने ये शर्मनाक हरक़त की उसे सरकार ने प्रमोशन ही दे दिया।एएसआई गोविंद सिंह के सस्पेंड होने के बाद कृषि पदाधिकारी पर भी कार्रवाई की मांग उठ रही थी, मगर बिहार सरकार ने इसके उलट कृषि पदाधिकारी को प्रमोशन देते हुए उन्हें कृषि विभाग में ही उप निदेशक बना दिया है।इस बाबत सरकार की तरफ से 25 अप्रैल को एक अधिसूचना जारी की गई, जिसमें इस बात की जानकारी दी गई कि अररिया के पदाधिकारी मनोज कुमार को पदस्थापित करते हुए उन्हें मुख्यालय बुला लिया गया है और उन्हें उपनिदेशक के पद पर नियुक्त किया गया है।वही राजद नेता तेजप्रताप यादव ने ट्वीट कर पदोन्नति पत्र शेयर किया है और लिखा है-इस मामले में कृषि मंत्री प्रेम कुमार ने कहा कि, मनोज कुमार पर कार्रवाई जारी रहेगी।सरकार ने सबसे पहले उसके खिलाफ अररिया में एफआईआर दर्ज करवाई है।अररिया में जांच प्रभावित न हो, इसी वजह से उसे अब पदस्थापित करके मुख्यालय बुला लिया गया है।उसके खिलाफ विभागीय जांच होगी।दोषी पदाधिकारी को प्रमोशन देने के मामले पर सरकार का बचाव करते हुए कृषि मंत्री ने कहा कि कानूनी पचड़े में सरकार की फजीहत न हो, इसी वजह से उसे अररिया से हटाकर पहले मुख्यालय में पदस्थापित किया गया है।आमलोगों में चर्चा हो रहा कि यही है नीतीश कुमार का न्याय के साथ विकास।