रेलवे ट्रैक पर मिला लापता अफसर जितेन्द्र झा का शव, पत्नी ने किया इनकार…
इंडियन सिविल अकाउंट्स सर्विस (आईसीएएस) के सीनियर ऑफिसर और बिहार के सुपौल के रहनेवाले 40 साल के जितेन्द्र झा की डेडबॉडी बुरी हालत में दिल्ली कैंट रेलवे स्टेशन के पास रेलवे ट्रैक पर मिलने का पुलिस ने दावा किया है।एचआरडी मिनिस्ट्री में एकाउंटेंट जनरल के पद पर तैनात जितेंद्र सोमवार सुबह घर से लापता हो गए थे।हालांकि,शिनाख्त के लिए आई जितेन्द्र की पत्नी भावना झा और उनके भांजे ने डेडबॉडी को पहचानने से इनकार कर दिया।अब शुक्रवार को जितेन्द्र के भाई बिहार से आकर शव की शिनाख्त करेंगे।भावना ने द्वारका थाने में गुमशुदगी की शिकायत दर्ज कराई थी।अपने
दिल्ली कैंट रेलवे स्टेशन पर मिला था बिहार निवासी अफसर का शव।पत्नी भावना झा व उनके भांजे ने शव को पहचानने से इनकार कर दिया।जितेन्द्र मानव संसाधन मंत्रालय से पहले सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय में एकाउंटेंट जनरल के पद पर तैनात थे।वो सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय से तबादले के बाद से ही काफी तनाव में थे।पुलिस का कहना है कि रेल पुलिस को मृतक का पहले सिर मिला।बाकी हिस्सा करीब एक किलोमीटर दूर मिला है।शव के पास सुसाइड नोट भी मिला है,जिसमें मृतक ने लिखा है कि वह अपनी मर्जी से सुसाइड कर रहा है।शिकायत के बाद पुलिस मामला दर्ज कर तलाश में लगी हुई थी।इस दौरान पुलिस ने घर के पास लगे तीन दर्जन से ज्यादा सीसीटीवी फुटेज की जांच की थी,जिसमें पास स्थित आईटीएल स्कूल और एक रेस्टोरेंट के सीसीटीवी फुटेज में वे अकेले जाते नजर आए थे।आगे की फुटेज के लिए पुलिस ने मेट्रो मैनेजमेंट से भी संपर्क किया था।
पति जितेन्द्र झा के सुसाइड की खबर सुनते ही भावना झा ने बताया कि ताकतवर और ईमानदार लोगों की सरकार में ही ईमानदारी नहीं चली।अपनी ईमानदार और सख्त छवि के चलते ही उनका हर जगह से 5 से 6 माह में तबादला कर दिया जाता था।इतना ही नहीं,यही वजह थी कि जिस मिनिस्ट्री में जितेन्द्र जाते थे,वहां के सीनियर अफसर और उससे जुड़े नेता भी डरते थे।एचआरडी मिनिस्ट्री से भी उनकी इसी छवि के कारण तबादला कर दिया गया था।भावना का कहना है कि वो एचआरडी मिनिस्ट्री से तबादले के बाद से ही काफी तनाव में थे,लेकिन वह कभी घर में ऑफिस की बात नहीं बताते थे।कईबार उनसे उनकी परेशानी की वजह पूछने की
कोशिश की,लेकिन हर बार वे दबाव होने की बात कह टाल देते थे।गौरतलब है इसी साल अगस्त माह में बिहार के बक्सर जिले के डीएम रहे मुकेश पांडेय ने भी सुसाइड किया था।10 अगस्त की रात गाजियाबाद स्टेशन से एक किमी० दूर कोटगांव के पास रेलवे ट्रैक पर मुकेश की डेडबॉडी मिली थी।पारिवारिक विवाद के चलते उन्होंने सुसाइड कर लिया था।पूर्व डीएम ने एक वीडियो में सुसाइड की वजह बताते हुए कहा था कि मैं अपने जीवन से खुश नहीं हूं।मेरी वाइफ और मेरे माता पिता के बीच बहुत तनातनी है।हमेशा दोनों एक दूसरे से उलझते रहते हैं जिससे कि मेरा जीना दुश्वार हो गया है।उन्होंने कहा था,मेरी एक छोटी बच्ची भी है।मेरे पास अब कोई और ऑप्शन नहीं बचा है और वैसे भी अब मैं जीवन से तंग आ चुका हूं।मैं सिंपल और पीस लविंग आदमी हूं।जब से मेरी शादी हुई है उसमें बहुत ही उथल-पुथल चल रही है।हमेशा हम लोग किसी किसी बात को लेकर झगड़ते रहते हैं।दोनों की पर्सनालिटी बिल्कुल अलग है।वो बहुत ही एग्रेसिव और एक्स्ट्रोवर्ट हैं।
रिपोर्ट-न्यूज़ रिपोटर