ठाकुरगंज : पौआखाली में बालू माफियाओं का आतंक, कार्रवाई के बावजूद जारी है अवैध खनन
अवैध कारोबार से सरकार को करोड़ों का नुकसान, माफिया बेखौफ

किशनगंज, 19 मई(के.स.)। जिले के पौआखाली थाना क्षेत्र में स्थित बूढ़ी कनकई नदी, चेंगा घाट, सिम्बलबाड़ी अब अवैध बालू खनन का बड़ा केंद्र बनती जा रही है। खासतौर पर पवना और सीमलवाड़ी इलाकों में बालू माफियाओं का नेटवर्क इतना मजबूत हो चुका है कि विभागीय कार्रवाई भी इसके आगे बेअसर साबित हो रही है।
हालांकि खनन विभाग द्वारा समय-समय पर छापेमारी कर कई वाहनों को जब्त किया गया है, लेकिन यह कार्रवाई केवल अस्थायी राहत ही दे पाती है। जैसे ही दबाव कम होता है, अवैध खनन का कारोबार फिर से चालू हो जाता है।
सरकारी खजाने पर डाका
जानकारों का कहना है कि इस अवैध खनन से सरकार को प्रतिवर्ष करोड़ों रुपये के राजस्व का नुकसान हो रहा है। बालू को अवैध तरीके से निकालकर ऊंचे दामों में बेचा जाता है, जिससे बालू माफिया मालामाल हो रहे हैं। स्थानीय सूत्रों के अनुसार, इस कारोबार में कुछ सरकारी कर्मचारियों की मिलीभगत भी सामने आई है, जिससे यह पूरा नेटवर्क और भी ताकतवर होता जा रहा है।
कार्रवाई जारी लेकिन नतीजा सीमित
खनन निरीक्षक राहुल कुमार ने बताया कि विभाग अब तक कई बार कार्रवाई कर चुका है और आगे भी यह अभियान लगातार जारी रहेगा। लेकिन अवैध खनन को रोकने के लिए सिर्फ छिटपुट कार्रवाई काफी नहीं है, बल्कि सख्ती और निरंतरता जरूरी है।
प्रशासन से अपेक्षा
स्थानीय लोगों की मानें तो इस अवैध खनन ने न सिर्फ पर्यावरण को नुकसान पहुंचाया है, बल्कि सामाजिक और आर्थिक असंतुलन भी पैदा किया है। जरूरत इस बात की है कि प्रशासन जमीनी स्तर पर निगरानी बढ़ाए और दोषियों पर सख्त कार्रवाई करे, ताकि इस खनन माफिया तंत्र को पूरी तरह तोड़ा जा सके।