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पटना:- जिला बाल संरक्षण इकाई, पटना के तत्वावधान में संचालित अरुणोदय विशिष्ट दत्तकग्रहण संस्थान में आवासित बालिका Kristina को सहायक निदेशक, जिला बाल संरक्षण इकाई, पटना श्री उदय कुमार झा के द्वारा दत्तक ग्रहण में दिया गया।

त्रिलोकी नाथ प्रसाद:-7 वर्षीय बालिका Christina को इटली के माता-पिता Christina Margotta एवं Luna Celestini को महिला एवं बाल विकास मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा जारी दत्तक ग्रहण मार्गदर्शिका 2022 के प्रावधानों के आलोक में समस्त प्रक्रिया पूर्ण कर प्रदान किया गया है। दंपत्ति के द्वारा लगभग 3 वर्ष पूर्व बच्चा गोद लेने हेतु आवेदन किया गया था । लगभग 3 साल की बालिका क्रिस्टीना को 2019 में पटना स्टेशन पर भटकते हुए एक पुलिस पदाधिकारी द्वारा पाया गया था। उसके जैविक माता-पिता की खोज करने हेतु समाचार पत्रों में विज्ञापन प्रकाशन करवाया गया था, परंतु उसके माता-पिता का पता नहीं चल पाया तत्पश्चात उसे एडॉप्शन की साइट पर पंजीकृत करवा दिया गया। इटली के माता-पिता के द्वारा दत्तक ग्रहण में लेने हेतु सहमति दी गई। परिवार न्यायालय पटना के द्वारा कोर्ट ऑर्डर मिलने के पश्चात आज उसे दत्तक माता पिता के सुपुर्द कर दिया गया।

इस अवसर पर उदय कुमार झा, सहायक निदेशक जिला बाल संरक्षण इकाई पटना , संस्थान के समन्वयक शाईस्ता अनवर तथा अन्य कर्मी उपस्थित थे।

जानिए दत्तकग्रहण के क्या नियम हैं-

कोई भी ऐसा दंपत्ति जिसकी शारीरिक एवं मानसिक स्थिति सुदृढ़ हो बच्चा गोद लेने के लिए पात्र हो सकता है, यदि उन्होंने कम से कम दो वर्ष का स्थिर वैवाहिक जीवन व्यतीत किया हो तथा दत्तक ग्रहण हेतु दोनों की आपसी सहमती जरुरी है। अलग-अलग उम्र वाले दंपत्ति को अलग – अलग उम्र के बच्चे की पात्रता होती है।

बच्चा गोद लेने के लिए केन्द्रीय दत्तकग्रहण संसाधन प्राधिकरण के वेबसाइट www.cara.nic.in पर रजिस्ट्रेशन कराना होता है । जांचोपरांत बच्चा गोद लेने के पात्र माता -पिता को बच्चा गोद दिया जाता है । एकल पुरूष अभिभावक को केवल लड़का गोद दिया जा सकता है जबकि एकल महिला अभिभावक लड़का एवं लड़की दोनों को गोद ले सकती है । देश में किसी अन्य माध्यम से बच्चा गोद लेना और देना कानूनी अपराध है ।

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