किशनगंज : युवाओं को नशा की लत से निजात दिलाने के लिए नशा मुक्ति केंद्र आज से संचालित
स्वस्थ जीवन के लिए नशे का त्याग करना जरुरी: जिलाधिकारी

- सुव्यवस्थित रूप से नशा मुक्ति केंद्र का संचालन सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक कार्य पूरी
- नशापान के आदी हो चुके लोगों को इस लत से निजात दिलाने का होगा प्रयास
किशनगंज, 13 दिसंबर (के.स.)। धर्मेन्द्र सिंह, जिले में नशा की लत युवाओं को दिन ब दिन गंभीर रूप से प्रभावित कर रहा है, युवाओं को नशा की लत से निजात दिलाने के लिए स्वास्थ्य प्रशासन सजग व गंभीर है इसके लिए कई दिनों से बंद पड़े सदर अस्पताल स्थित नशा मुक्ति केंद्र लोगों को नशा से मुक्त करने एवं नशा के दुष्प्रभाव को जन जन तक पहुंचाने के उद्देश्य से सदर अस्पताल में संचालित नशा मुक्ति केंद्र का बुधवार से पुनः शुरू कर दी गई है, जिसकी जानकारी सदर अस्पताल उपाधीक्षक डा. अनवर हुसैन ने दी। उन्होंने बताया कि नशा मुक्ति केंद्र को सुव्यवस्थित करते हुए इसका सफल संचालन सुनिश्चित कराने को लेकर विशेषज्ञ चिकित्सक एवं प्रशिक्षित स्वास्थ्य कर्मी प्रतिनियुक्त किए गए है, उन्होंने कहा कि नशा किसी भी चीज का हो इसका परिणाम हमेशा हानिकारक होता है। मादक पदार्थों के साथ-साथ शराब ने अनेकों घरों को उजाड़ा है। ऐसे में जरूरत है लोगों को नशा मुक्त करना ताकि नशे की वजह से किसी का घर बर्बाद न हो। इसी उद्देश्य से राज्य सरकार के निर्देश पर सभी जिलों में नशा मुक्ति केंद्र का निर्माण किया गया है जहा लोगों को नशा मुक्ति के उपाय के साथ ही साथ उन्हें जागरूक भी करना है। जिलाधिकारी तुषार सिंगला ने कहा कि राज्य को नशा मुक्त बनाना सरकार की प्राथमिकताओं में शुमार है। इस लिहाज से केंद्र के सफल संचालन को उन्होंने महत्वपूर्ण बताया। उन्होंने बताया कि स्वस्थ जीवन के लिए नशे से दूरी जरूरी है। जो लोग भी किसी प्रकार के नशे की लत में हैं उसका तत्काल त्याग करें। किसी भी प्रकार का नशा शरीर को अंदर से कमजोर करता है और रोग प्रतिरोधक क्षमता प्रभावित होती है। नशा आर्थिक, मानसिक एवं शारीरिक रूप से मनुष्य को कमजोर करता और नशे की लत को मजबूत इच्छाशक्ति से ही छोड़ा जा सकता है। नशा मुक्ति केंद्र आमजनों को नशे के दुष्प्रभाव को लेकर जागरूक करेगा ताकि लोग इसकी लत से बच सकें और अविलंब इसका त्याग करें। सिविल सर्जन डा. कौशल किशोर ने कहा कि अस्पताल में नशा मुक्ति केंद्र का संचालन फिर से शुरू किया गया है। 16 बेड क्षमता वाले इस केंद्र को सुव्यवस्थित करते हुए इसका सफल संचालन सुनिश्चित कराया जाना है। इसके लिये नशा मुक्ति केंद्र में विशेषज्ञ चिकित्सकों के साथ जीएनएम व एएनएम की प्रतिनियुक्ति की गयी है। प्रतिनियुक्ति कर्मियों के लिये रोस्टर का निर्धारण किया गया है। स्वास्थ्य विभाग के निर्धारित एसओपी के अनुसार कर्मियों को जरूरी प्रशिक्षण उपलब्ध कराया गया है। नशामुक्ति केंद्र के संबंध में जानकारी देते हुए सदर अस्पताल उपाधीक्षक डा. अनवर हुसैन ने कहा कि नशापान के आदी हो चुके लोगों को इस बुरी लत से निजात दिलाना केंद्र का मुख्य उद्देश्य है। नशापान के आदी हो चुके लोगों को जरूरी इलाज के लिये केंद्र लाया जायेगा। इलाज पूरी होने के बाद उन्हें मुक्त कर दिया जायेगा। अस्पताल में फिलहाल 16 बेड क्षमता वाले नशा मुक्ति केंद्र का संचालन किया जा रहा है। बाद में जरूरत के हिसाब से बेड की संख्या को बढ़ाया जा सकता है। राज्य सरकार द्वारा निर्धारित मापदंडों के आधार पर केंद्र का संचालन किया जायेगा।