देशब्रेकिंग न्यूज़राज्य

खाकी में इंशान याद रहेगी पीपुल फ्रेंडली पुलिसिंग…

मुंगेर जीतेंद्र मिश्र मुंगेर के डीआइजी बनाए गए हैं।जीतेंद्र दिनांक-09.04. 2018 को विकास वैभव से पदभार ग्रहण करेंगे।इधर,प्रभारी डीआइजी के रूप में विकास वैभव का मुंगेर सहित रेंज के सभी जिलों के लोगों के लिए यादगार बन गया।डीआइजी विकास वैभव ने पिपुल फ्रेंडली पुलिसिंग के जरिये लोगों की दिल में अलग जगह बनाई।डीआइजी ने मुंगेर में योगदान देने के साथ ही रेंज के सभी जिला के एसपी व थानाध्यक्ष को पत्र लिख कर स्पष्ट निर्देश दिया कि थाना आने वाले लोगों की शिकायत पर अविलंब प्राथमिकी दर्ज करें।प्राथमिकी दर्ज करने में आनाकानी किसी कीमत पर बर्दाश्त नहीं की जाएगी।एफआइआर दर्ज करने में लापरवाही बरतने के आरोप में डीआइजी ने कासिम बाजार और असरगंज थानाध्यक्ष को निलंबित कर दिया।वहीं,जिला के सभी थानाध्यक्ष को प्रत्येक शनिवार को जन संवाद का आयोजन कर लोगों की शिकायत सुनने और लोगों की शिकायत पर त्वरित कार्रवाई करने के निर्देश दिए थे।डीआइजी की पहल पर प्रत्येक थाना क्षेत्र में जन संवाद का आयोजन किया जाना लगा।जहां लोग खुल कर अपराध नियंत्रण को लेकर अपने सुझाव देते थे।वहीं,रेंज की प्रमुख घटनाओं पर डीआइजी खुद से लगातार मानटिरिंग कर उसका उदभेदन करने का भी प्रयास करते थे।

भारतीय पुलिस सेवा के चार अधिकारी ‘मीड कॅरियर ट्रेनिंग प्रोग्राम फेज-4’ के प्रशिक्षण के लिए हैदराबाद जाएंगे।इसमें भागलपुर क्षेत्र के उप-महानिरीक्षक विकास वैभव (बैच 2003) समेत आइजी मद्य निषेध,अपराध अनुसंधान विभाग, रत्‍‌न संजय कटियार (बैच 1998) दरभंगा डीआइजी विनोद कुमार-2 (बैच 2005) पटना सेंट्रल डीआइजी राजेश कुमार (बैच 2003) शामिल हैं।चारों अधिकारी हैदराबाद स्थित सरदार बल्लभ भाइ पटेल,राष्ट्रीय पुलिस अकादमी प्रशिक्षण के लिए जाएंगे।प्रशिक्षण 14 मई से लेकर 01 जून तक होगा।उक्त चारों अधिकारियों को फोरेन कंपोनेन्ट हेतु आयोजित ‘मीड कॅरियर ट्रेनिंग प्रोग्राम फेज-4’ के प्रशिक्षण के लिए नामित किया गया है।इस आशय की अधिसूचना गृह विभाग ने शनिवार को जारी कर दी है।सभी को यह जानकारी सरकार के अपर सचिव रंजन कुमार सिन्हा ने पत्र भेज दिया है।अभी उक्त अधिकारियों के प्रभार में कौन होंगे।इस संबंध में निर्देश जारी नहीं कि गए हैं।

डीआइजी विकास वैभव ने शनिवार दिनांक-07.04.2018 को जनता दरबार लगा कर लोगों की शिकायत सुनी। बरियारपुर की निधि कुमारी ने कहा कि मैंने अवनीश कुमार से प्रेम विवाह किया।मेरा ननिहाल कुमारपुर में है।शादी के बाद से मेरे ननिहाल के लोग खुश नहीं हैं।अक्सर मेरे परिवार को जान से मारने की धमकी दी जा रही है। जमालपुर ईस्ट कालोनी की प्रेमा देवी ने कहा कि भागलपुर में आप से मिलने के बाद ईस्ट कालोनी थाना में प्राथमिकी दर्ज कराई।लेकिन,कुछ लोगों के प्रभाव में आकर पुलिस आरोपितों पर कार्रवाई नहीं कर रही है।जमालपुर की रीना देवी ने कहा कि मेरे पड़ोसी ने मेरे साथ मारपीट की।इसको लेकर मैंने जमालपुर थाना में नामजद प्राथमिकी दर्ज कराई।लेकिन,पुलिस आरोपितों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं कर रही है।वहीं,कारेलाल रजक ने कहा कि मेरे पुत्र राहुल कुमार की हत्या उसकी पत्नी कामनी देवी सहित अन्य आरोपितों ने कर दी।इसको लेकर बलिया थाना में प्राथमिकी दर्ज कराई गई।लेकिन,पुलिस आरोपितों की गिरफ्तारी नहीं कर रही है।वहीं,कोतवाली थाना क्षेत्र की एक महिला ने डीआइजी को आवेदन देकर कहा कि मेरी शादी बिना दहेज के हुई थी।सास और मेरा पति मुझे बहुत स्नेह के साथ रखते हैं।लेकिन,मेरा भैसूर मेरे उपर गलत नियत रखता है और अकेले में देख मेरे साथ छेड़खानी भी करता है।डीआइजी ने मामले को गंभीरता से लेते हुए कोतवाली थानाध्यक्ष को सात दिनों के अंदर विधि सम्मत कार्रवाई करने के निर्देश दिए।

धरती का नायक है,जो फरिश्ता है,कुशल योग्य तेज तर्रार आईपीएस श्री विकास वैभव आज परिचय के मोहताज नही है।इन्हे देश मे इनके कुशल कार्य कॊ लेकर काफी लोकप्रियता हासिल है।जो बिहार के भागलपुर मे डीआईजी है कुशल कार्य कॊ लेकर श्री वैभव चर्चा में रहते है।सबसे दिलचस्प बात है की ये जनता के हृदय मे बसते है।पुलिस विभाग के शान है।बिहार के गौरव है।देश मे इनका नाम सच्चा सेवक के नाम से और बिहार मे इन्हे अपराधी कॊ और माफिया को कानून का ताकत दिखाकर सबक सिखाने वाले के नाम से भी जाने जाते है।अपराधी और माफिया के लिए जितने कड़क है आम जनता के लिए उतने ही नरम और मिलनसार है।काफी कम समय मे इन्हे इनके कुशल कार्य कॊ देखकर पूर्व डीजीपी श्री पीके ठाकुर ने और सरकार ने इनके कार्य अनुसार एसपी से डीआईजी मे प्रमोशन देते हुए भागलपुर का डीआईजी बनाया और मुंगेर का भी कमान सौंपा गया।त्वरित संतोष जनक कार्य से तो जनता इन्हे सच्चा मित्र मानते है।काश हर आईपीएस इनके प्रकार से जनता के दुख और भावना समझने वाले होते इनके कुशल कार्य से पुलिस विभाग गर्व करता है।

अपने कर्तव्य के प्रति सजग और देश के ऐतिहासिक और पौराणिक विरासत पर गहन शोध करने वाले वरिष्ठ आइपीएस अधिकारी और भागलपुर रेंज के डीआइजी विकास वैभव का भागलपुर रेंज में अपराध के ग्राफ को शून्य करने की कवायद ने काफी असर दिखाया हैउनके चल रहे अनवरत प्रयास का असर भागलपुर में दिखने लगा हैवहीं,दूसरी ओर दिनों-दिन उनके सरोकारी व्यक्तित्व की चर्चा और उसे लेकर आम लोगों का उनके प्रति आकर्षण के बढ़ने का सिलसिला भी जारी हैइसी क्रम में बिहार के बगहा जिले में कर्तव्य के प्रति समर्पित इस वरिष्ठ आइपीएस अधिकारी के नाम से लोग 01 सितंबर 2017 को एक चौराहे का नामकरण विकास वैभव के नाम पर हुआ लोगों का कहना था कि इससे पहले राजनेताओं और अंग्रेज अधिकारियों के नाम पर ही चौराहे का नामकरण देखा जाता था,लेकिन अब लोगों ने ऐसे अधिकारियों की ईमानदारी को इस तरह से सम्मानित करने का बीड़ा उठाया हैविकास वैभव के नाम से चौराहे के नामकरण की कहानी भी काफी रोचक हैबात 2003 की  है,जब बगहा के रहने वाले एक युवक ने 2003 में पर्यावरण को संरक्षित करने के लिए पौधारोपण का काम शुरू कियागांव के साथ समाज के लोगों की तमाम आलोचनाओं को झेलते हुए,वह दिन रात पौधारोपण कर पर्यावरण के स्वच्छता की अनूठी कहानी लिखने लगाइस बीच बगहा में एक आइपीएस अधिकारी का आगमन हुआ,जिनका नाम था विकास वैभव,श्री वैभव ने बगहा को कम ही दिनों में अपराध मुक्त तो बनाया ही,उन्होंने मिनी चंबल के कई खूंखार अपराधियों को समाज की मुख्यधारा से जोड़ा,जो बच गये उन्हें गिरफ्तार कियाइस बात से बगहा के युवक गजेंद्र यादव ने काफी प्रभावित किया और गजेंद्र विकास वैभव से मिलने पहुंच गयेगजेंद्र यादव ने पर्यावरण के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को वरिष्ठ आइपीएस अधिकारी विकास वैभव के सामने रखीउन्होंने मदद का भरोसा दिया और गजेंद्र के साथ मिलकर खुद भी पर्यावरण को संरक्षित करने के काम में जुट गये2007 से अपने बगहा के कार्यकाल में विकास वैभव ने सैकड़ों पौधों को जीवन दिया और गजेंद्र को प्रोत्साहित करने लगेइस बीच इलाके में एक ऐसा चौराहा था,जो बदमाशों का अड्डा था और डर के मारे उधर से कोई गुजरना नहीं चाहता थाविकास वैभव ने 2008 में वहां एक आम का पेड़ लगाया और वह चौराहा धीरे-धीरे जवान हो चुके आम के पेड़ के साथ लोगों में प्रसिद्ध होता गयागजेंद्र बताते हैं कि अब लगभग तीन सालों से उस पेड़ पर रसीले आम फलते हैं

गजेंद्र इस परिवर्तन का श्रेय विकास वैभव को देते हैं और उनके सम्मान में चौराहे का नामकरण करना चाहते थेअब उस चौराहे का नामकरण विकास वैभव चौराहे के नाम से किया गयागजेंद्र ने गांव के साथ उन हजारों लोगों को यह दिखा दिया है कि निःस्वार्थ भाव से की गयी सेवा कभी व्यर्थ नहीं जातीगजेंद्र के प्रयास से बगहा में पर्यावरण की स्थिति काफी बेहतर हुई है,इलाके में हरित अच्छादन का प्रतिशत बढ़ा हैइसे कहते हैं एक अधिकारी का समाज और राज्य के साथ राष्ट्र के प्रति उम्दा कार्य संस्कृति को अंजाम देकर सरोकारी कार्यों को बढ़ावा देना

रिपोर्ट-धर्मेन्द्र सिंह 

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button