आतंकवाद निरोधक दस्ता (एटीएस) ने सेना,पुलिस और दूरसंचार विभाग के टर्म सेल की मदद से अंतरराष्ट्रीय फोन कॉल कराने वाले रैकेट का पर्दाफाश करते हुए सरगना समेत 11 आरोपियों को गिरफ्तार किया है।यह गिरफ्तारी लखनऊ,हरदोई,सीतापुर और नई दिल्ली के महरौली से की गई है।एटीएस मुख्यालय पर बुधवार को पत्रकारों से बातचीत में एटीएस के आइजी असीम अरुण ने यह जानकारी दी।गोपनीय सूचना के आधार पर एटीएस टीम ने लखनऊ के अलीगंज के सेक्टर जे में रहने वाले राहुल रस्तोगी,मड़ियांव के शिवेंद्र मिश्र,अमीनाबाद के हर्षित गुप्ता, राजाजीपुरम निवासी विशाल कक्कड़ और प्रियदर्शनी कॉलोनी में रहने वाले बुलंदशहर निवासी राहुल सिंह को गिरफ्तार कर उनके कब्जे से तीन लैपटाप,12 सिम बॉक्स,87 सिम,25 मोबाइल फोन,डाटा कार्ड और अन्य सामग्री बरामद की है।हरदोई के सरायथोक पश्चिम निवासी विनीत कुमार दीक्षित के कब्जे से दो सिम बॉक्स,13 सिमकार्ड,दो लैपटाप,दो पेन ड्राइव और चार मोबाइल फोन बरामद किए।सीतापुर जिले से चर्च रोड निवासी रिषी होरा,सुक्खूमल रोड के श्याम बाबू,शमशेर बाग कॉलोनी के उत्तम शुक्ला और सिविल लाइन निवासी विकास वर्मा से 16 स्लाट्स के दो सिम बॉक्स और अन्य उपकरण बरामद किए हैं।जम्मू-कश्मीर में सेना की कर रहे थे जासूसी मालुम हो की इस गिरोह के तार पाकिस्तान,बांग्लादेश,सऊदी अरब और दुबई से जुड़े हैं।इनके लोग सैन्य अधिकारी बनकर जम्मू-कश्मीर में सेना की जासूसी का प्रयास कर रहे थे। एक दिन कर्नल विक्रम तिवारी नाम से एक फोन पर सेना का मूवमेंट पूछा गया तो इंटेलीजेंस एजेंसी के कान खड़े हो गए।फोन करने वाले का नंबर उत्तर प्रदेश का था। बाद जम्मू-कश्मीर की मिलिट्री इंटेलीजेंस यूनिट ने एटीएस से यह जानकारी साझा की। एटीएस उप्र ने इन नंबरों की जांच में पाया कि अवैधग एक्सचेंज के जरिये भारत के बाहर से काल किए जा रहे हैं परंतु डिस्प्ले पर भारत का ही नंबर दिखता है।